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दिल्ली : राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली महिलाओं के लिए सबसे असुरक्षित शहर है। यहां हर रोज तीन महिलाओं की अबरू लूट होती है। नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो (मैदानबी) द्वारा तीन दिसंबर को जारी वर्ष 2022 की रिपोर्ट में यह दावा किया गया है। यहां बताया गया है कि 2022 में एक दिन में तीन तलाक के मामले दर्ज किए गए हैं। वहीं, 28 हजार 522 मैसाचुसेट्स केसों में प्रवेश हुआ, यानी हर दिन 78 हत्याएं हुईं। रिपोर्ट में खुलासा हुआ है कि राज्य और केंद्र में महिलाओं के खिलाफ अपराध में महिलाओं की भागीदारी में चार प्रतिशत की वृद्धि हुई है, जबकि पिछले साल की तुलना में वर्ष 2022 में 19 महानगरों में इस तरह के मामलों में 12.3 प्रतिशत की वृद्धि हुई थी।
ब्यूरो की रिपोर्ट के अनुसार, 20 लाख से अधिक जनसंख्या वाले 19 महानगर (अहमदाबाद, बेंगलुरु, चेन्नई, कोयंबटूर, दिल्ली, गाजियाबाद, हैदराबाद, इंदौर, जयपुर, कानपुर, कोच्चि, कोलकाता, कोझिकोड, लखनऊ, मुंबई, नागपुर, पटना, पुणे) और सूरत) में 2022 के दौरान महिलाओं के खिलाफ अपराध के कुल 48,755 मामले दर्ज किए गए, जो 2021 (43,414 मामले) की तुलना में 12.3 प्रतिशत की वृद्धि है। दिल्ली में 72.4 प्रतिशत की अनबन दर के साथ महिलाओं के विरुद्ध अपराध के 14,158 मामले दर्ज किये गये।
तीसरे साल भी दिल्ली पहले नंबर पर रही
ब्यूरो ने अपनी रिपोर्ट में बताया है कि साल 2022 में शहर में महिलाओं के खिलाफ अपराध की 14,158 घटनाएं दर्ज की गईं, जो लगातार तीसरे साल 19 महानगरीय शहरों में सबसे अधिक है। हर एक लाख महिलाओं पर लगभग 186.9 अपराध दर्ज किये गये। बैसाबी के आंकड़ों के अनुसार इसमें 1,204 बेरोजगारी के मामले शामिल हैं।
अपहरण की 3909 घटनाएं हुईं
रिपोर्ट के अनुसार, राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में महिलाओं के 3909 की घटना दर्ज की गई। दिल्ली में डकैती हत्याकांड से जुड़े कुल 129 मामले दर्ज किए गए। वहीं, दिल्ली में राजनेताओं या उनके रिश्तेदारों की 4,847 घटनाएं दर्ज की गईं। महिलाओं के लिए दिल्ली देश का सबसे असुरक्षित शहर है, यहां रोजाना औसतन तीन बलात्कार के मामले दर्ज होते हैं।
ज्यादातर परिचित होते हैं
दिल्ली पुलिस के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि डकैती और हमलों की ज्यादातर घटनाएं आम तौर पर एक-दूसरे को पता होती हैं। पुलिस के लिए ऐसी घटनाएं होने से सीधे तौर पर लाभ मिलना मुश्किल है, क्योंकि छात्रा याचिका दर्ज करने से बचती हैं।
बच्चों को लेकर 7400 मामले दर्ज किए गए
मजहबी के नवीनतम आंकड़ों के अनुसार, शहर में बच्चों के खिलाफ अपराध की 7400 घटनाएं दर्ज की गईं। इनमें हत्या की 22 घटनाएं शामिल थीं। वृद्धजन (60 वर्ष या उससे अधिक आयु) के खिलाफ अपराध की घटनाएं 2021 में 1,166 आपराधिक घटनाएं 2022 में 1,313 मामले हुए। 2022 में शहर में साइबर अपराध के मामले में दोगुने हो गए। 2021 में 345 मामले बढ़े, 2022 में यह संख्या 685 तक पहुंची। शहर में हत्या की कुल 501 घटना दर्ज की गई। इसमें मानव धर्म के 106 मामले भी दर्ज हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि 2022 में 113 लड़कियों की तुलना दिल्ली में कम से कम 492 लड़कों की गर्लफ्रेंड की गई।
दिल्ली में केंद्रशासित रोबोट आगे
केंद्र उपयोग में, दिल्ली में महिलाओं के खिलाफ सबसे ज्यादा अपराध दर्ज किये गये। वैसे ही यह 2021 में दर्ज मामले से कम थे, लेकिन यह संख्या 2020 में दिल्ली में 10,093 मामले दर्ज किये गये थे। महानगरीय शहरों में महिलाओं के ख़िलाफ़ सबसे ज़्यादा अपराध दिल्ली शहर में 14,158 दर्ज किये गये। इसके बाद मुंबई में 6,176 मामले और बेंगलुरु में 3,924 मामले थे।