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बारातियों पर कसा शिकंजा
पानीपत। हरियाणा के पानीपत में एक दिन बाद आने वाली बारात, बुधवार को अचानक थाने पहुंच गई। यहां लड़का और लड़की के दस्तावेजों की जांच-पड़ताल की गई। जांच में लड़का और लड़की, दोनों ही नाबालिग निकले। जिसके बाद होने वाली शादी को रूकवा दिया गया। बाल विवाह निषेध अधिकारी रजनी गुप्ता ने दोनों पक्षों के शपथ पत्र लिए। जिसमें लड़की की उम्र 18 साल और लड़के की उम्र 21 साल होने तक शादी न करने की बात लिखवाई गई है। जानकारी देते हुए प्रोटेक्शन ऑफिसर रजनी गुप्ता ने बताया कि उनके पास 6 मई को सूचना मिली थी कि ईदगाह कॉलोनी में 10 मई को एक नाबालिग लड़की की शादी होनी है। इसके बाद लड़की की मां को फोन पर संपर्क किया और महिला थाने में बुलाया गया।
इसके बाद लड़का पक्ष को भी बुलाया गया। लड़का पक्ष सोनीपत जिले के गोहाना का रहने वाला है, वह वहां से पानीपत कार्यालय पहुंचा। यहां पहुंचने के बाद लड़का और लड़की के उम्र संबंधित दस्तावेज चेक किए। जिसमें लड़की की 13 साल और लड़के की उम्र 16 साल मिली। लड़का फेरी लगाने का काम करता है। दोनों पक्षों में कानून की जानकारी की कमी, अज्ञानता और अनपढ़ता दिखाई दी। अधिकारी रजनी गुप्ता ने बताया कि इस तरह झुग्गी-झोपड़ियों में रहने वाले लोगों की भी बाल विवाह की सूचना अगर आ रही है तो ये कहीं न कहीं बाल विवाह को लेकर आमजन में जागरूकता लगातार बढ़ रही है। वहीं, लोगों से अपील यही है कि अगर कहीं भी बाल विवाह हो रहा है या होने वाला है तो इसकी सूचना हेल्पलाइन नंबर 1091, 100, 112 पर दी जा सकती है। इसके अलावा नजदीकी किसी भी थाने में भी जाकर सूचित किया जा सकता है। सूचना देने वाले की जानकारी उजागर नहीं होगी।
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