भारत
बिहार विधान परिषद के 24 सदस्यों का कार्यकाल आज होगा खत्म, उच्च सदन में घटेगी BJP की ताकत
Renuka Sahu
16 July 2021 6:13 AM GMT
x
फाइल फोटो
बिहार के 20 विधान परिषद सदस्यों का कार्यकाल शुक्रवार यानी 16 जुलाई को खत्म हो रहा है जबकि चार सीटें पहले से रिक्त हैं. इस तरह से कुल 24 सीटें रिक्त हो जाएंगी. ऐसे में बिहार विधान परिषद में सदस्यों की संख्या 75 से घटकर 51 हो जाएगी. कोरोना संकट के चलते प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव टाल दिए गए हैं, जिसका असर स्थानीय निकाय के द्वारा चुने जाने वाले विधान परिषद के चुनाव पर भी पड़ा है. इसके बाद बिहार के उच्च सदन में बीजेपी और जेडीयू की संख्या घटकर आधी हो जाएगी.
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। बिहार के 20 विधान परिषद सदस्यों का कार्यकाल शुक्रवार यानी 16 जुलाई को खत्म हो रहा है जबकि चार सीटें पहले से रिक्त हैं. इस तरह से कुल 24 सीटें रिक्त हो जाएंगी. ऐसे में बिहार विधान परिषद में सदस्यों की संख्या 75 से घटकर 51 हो जाएगी. कोरोना संकट के चलते प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव टाल दिए गए हैं, जिसका असर स्थानीय निकाय के द्वारा चुने जाने वाले विधान परिषद के चुनाव पर भी पड़ा है. इसके बाद बिहार के उच्च सदन में बीजेपी और जेडीयू की संख्या घटकर आधी हो जाएगी.
इन सदस्यों का कार्यकाल पूरा
राज्य में 20 एमएलसी का कार्यकाल 16 जुलाई, 2021 को खत्म हो रहा है, उनमें रजनीश कुमार, सच्चिदानंद राय, रीना यादव, राधाचरण साह, टुन्ना जी पांडेय, संतोष कुमार सिंह, मनोरमा देवी, राजन कुमार सिंह, बबलू गुप्ता, सलमान रागिब, सुबोध कुमार, दिनेश प्रसाद सिंह, हरिनारायण चौधरी, दिलीप जायसवाल, अशोक अग्रवाल, संजय प्रसाद शामिल हैं. इनके अलावा नूतन सिंह, सुमन कुमार, आदित्य नारायण पांडेय और राजेश राम का कार्यकाल भी खत्म हो रहा है.
वहीं, चार विधान परिषद के पद पहले से खाली हैं. इनमें एक सदस्य का निधन हो चुका है जबकि अन्य तीन विधायक बन चुके हैं. आरजेडी के टिकट पर रीतलाल यादव दानापुर से विधायक हो गए तो सीतामढ़ी से आरजेडी के विधान पार्षद दिलीप राय जेडीयू से विधायक बने हैं. इसके अलावा जेडीयू के ही एमएलसी मनोज यादव भी विधायक बन चुके हैं जबकि दरभंगा के बीजेपी विधान पार्षद सुनील कुमार सिंह का निधन हो गया था. इस तरह से कुल 24 विधान परिषद की सीटें खाली हो रही हैं.
पंचायत चुनाव के चलते सीटें रिक्त
बता दें कि विधान परिषद की जिन 24 सीटों का कार्यकाल पूरा हो रहा है, वो स्थानीय निकाय से निर्वाचित होकर राज्य के उच्च सदन पहुंचे थे. ये चुनाव ग्राम पंचायत के मुखिया, वार्ड सदस्य, पंचायत समिति के सदस्य, जिला पर्षद के सदस्य के द्वारा किया जाता है. इसके अलावा नगर पंचायत, नगर पर्षद और नगर निगम के निर्वाचित सदस्यों के अलावा छावनी बोर्ड के सदस्य स्थानीय क्षेत्र प्राधिकार के माध्यम से निर्वाचित होने वाले सदस्यों का चुनाव करते हैं.
बिहार में कोरोना के चलते पंचायत चुनाव टाल दिए गए हैं, जिसके चलते 24 विधान परिषद सीटों पर चुनाव समय पर नहीं कराए गए हैं. ऐसे में अब ये पद तब तक खाली रहेंगे, जबतक बिहार में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव नहीं हो जाता. इसके चलते शनिवार को विधान परिषद की दलगत संख्या भी बदल जाएगी. इसका असर बीजेपी और जेडीयू की विधान परिषद सदस्यों की संख्या पर पड़ रहा है.
राज्य में विधान परिषद के 24 सदस्यों का कार्यकाल समाप्त हो रहा है, उनमें सबसे अधिक बीजेपी के हैं. बिहार उच्च सदन में बीजेपी के कुल 26 विधान परिषद है, जिनमें से 12 स्थानीय निकाय से निर्वाचित सदस्य हैं. विधान परिषद में बीजेपी की संख्या अब 14 रह जाएगी. वहीं, जेडीयू के कुल 29 विधान परिषद सदस्य हैं जो अब घटकर 23 रह जाएंगे. वहीं, कांग्रेस के एक और आरजेडी के भी एक एमएलसी की संख्या कम होगी. हालांकि, बिहार विधान परिषद में अभी भी एनडीए का पलड़ा भारी है.
इन MLC सीटों पर पड़ेगा असर
पंचायत चुनाव के चलते जिन 24 विधान परिषद निर्वाचन क्षेत्र का चुनाव बाधित हुआ है, उनमें पटना स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, नालंदा स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, गया सह जहानाबाद सह अरवल स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र,औरंगाबाद स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, नवादा स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, भोजपुर सह बक्सर स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, रोहतास सह कैमूर स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, सारण स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, सीवान स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, गोपालगंज स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र,पश्चिम चंपारण स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र शामिल हैं.
वहीं, पूर्वी चंपारण स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र व मुजफ्फरपुर स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र के साथ ही वैशाली स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, सीतामढ़ी सह शिवहर स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, दरभंगा स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र,समस्तीपुर स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र और मुंगेर सह जमुई सह लखीसराय सह शेखपुरा स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र है.
बेगूसराय सह खगड़िया स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, सहरसा सह मधेपुरा सह सुपौल स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, भागलपुर सह बांका स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, मधुबनी स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र, पूर्णिया सह अररिया सह किशनगंज स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र और कटिहार स्थानीय प्राधिकार निर्वाचन क्षेत्र की सीटें शामिल हैं.
Next Story