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देश के अटॉर्नी जनरल KK वेणुगोपाल का कार्यकाल मोदी सरकार ने 1 साल बढ़ाया, जाने कब तक देंगे सेवाएं
jantaserishta.com
28 Jun 2021 10:45 AM GMT
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फाइल फोटो
केंद्र सरकार ने अटॉर्नी जनरल कोट्टायन कटंकोट वेणुगोपाल को दूसरी बार सेवा विस्तार दिया है. केंद्र सरकार ने वेणुगोपाल का कार्यकाल एक साल के लिए और बढ़ा दिया है. यानी अब वेणुगोपाल 30 जून 2022 तक भारत के महान्यायवादी यानी अटॉर्नी जनरल के पद पर बने रहेंगे. वेणुगोपाल को पीएम मोदी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार ने 15 वें अटॉर्नी जनरल के रूप में एक जुलाई 2017 को तीन साल के लिए नियुक्त किया था.
वेणुगोपाल का तीन साल का कार्यकाल पिछले साल 30 जून को पूरा हो गया था. कार्यकाल पूरा होने के बाद सरकार ने वेणुगोपाल का कार्यकाल एक साल के लिए बढ़ा दिया था. इस सेवा विस्तार के बाद भी वेणुगोपाल का कार्यकाल 30 जून को समाप्त हो रहा था. इससे दो दिन पहले ही सरकार ने वेणुगोपाल को दूसरी बार सेवा विस्तार देने का ऐलान कर दिया है.
गौरतलब है कि वेणुगोपाल इससे पहले साल 1977 से 1979 तक जब देश में मोरारजी देसाई के नेतृत्व वाली सरकार थी, तब देश के अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल रह चुके हैं. वेणुगोपाल को साल 2002 में भारत सरकार ने सार्वजनिक क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए देश के तीसरे सर्वोच्च नागरिक अलंकरण पद्म भूषण से सम्मानित किया था. अटार्नी जनरल भारत सरकार का प्रथम विधि अधिकारी होता है.
अटॉर्नी जनरल वह उच्चतम न्यायालय और राज्य के उच्च न्यायालयों में भारत सरकार का पक्ष रखता है. सरकार के साथ ही संवैधानिक संस्थान भी कई बार संविधान की व्याख्या से जुड़े मामलों में अटॉर्नी जनरल की राय लेते हैं. अटॉर्नी जनरल को संसद के दोनों सदनों की कार्यवाही में भाग लेने और बोलने का अधिकार है. हालांकि, अटॉर्नी जनरल को संसद में मतविभाजन के दौरान मत देने का अधिकार नहीं है.
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