बंगाल। शेर और शेरनी के अकबर और सीता नाम पर विवाद के बाद अब नई पहचान दिए जाने की तैयारी है। खबर है कि नए प्रस्ताव के तहत शेर का नाम सूरज और शेरनी का नाम तनया हो सकता है। हालांकि, नामों पर अंतिम मुहर अब तक नहीं लगाई है। नामों को लेकर हुआ विवाद उच्च न्यायलय तक पहुंच गया था। विश्व हिंदू परिषद (VHP) ने शेरनी के सीता नाम पर आपत्ति जताई थी।
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, राज्य सरकार की तरफ से सेंट्रल जू अथॉरिटी यानी CZA को नए नामों का प्रस्ताव भेज दिया गया है। दरअसल, कलकत्ता हाईकोर्ट की सर्किट बेंच ने कहा था कि विवादित नामों से बचा जाना चाहिए। इसके बाद पश्चिम बंगाल के जू अथॉरिटी की तरफ से CZA को नए नामों का प्रस्ताव भेजा गया है। फरवरी में जब मामला अदालत पहुंचा, तब जस्टिस सौगत भट्टाचार्य का कहना था कि दूसरे शेर का नाम अकबर रखने का वह समर्थन नहीं करते हैं। राज्य के एडिशनल एडवोकेट जनरल ज्योजीत चौधरी ने उच्च न्यायालय को बताया था कि बंगाल शेर और शेरनी का नाम बदलना चाहता है।
टाइम्स ऑफ इंडिया से बातचीत में एक वरिष्ठ वन अधिकारी का कहना है कि CZA को ये नाम भेज दिए गए हैं और अब यह उनपर है कि वह इन नामों को स्वीकार करते हैं या डिजिटल नाम देते हैं। अखबार से बातचीत में चौधरी ने बताया, 'एक बार नामों पर मुहर लग जाएगी, तो इन्हें रिकॉर्ड्स में रख लिया जाएगा। इसके बाद अगर जोड़ा शावकों को जन्म देता है तो उनके माता-पिता के नाम के तौर पर सूरज और तनया लिखा जाएगा।'
7 साल के शेर और 6 साल की शेरनी को 12 फरवरी को सिपाहीजाला जूलॉजिकल पार्क से सिलिगुड़ी के बंगाल सफारी में लाया गया था। एक एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत ऐसा किया गया था। नामों को लेकर हुए विवाद के बाद राज्य सरकार ने कहा था कि उन्हें नाम त्रिपुरा में दिया गया है। इसके बाद त्रिपुरा के वन अधिकारी प्रवीण लाल अग्रवाल को सस्पेंड कर दिया गया था।