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भारत के मुख्य न्यायाधीश की मां के साथ ठगी, इस शख्स ने लगया 2 करोड़ रुपये का चूना
jantaserishta.com
10 Dec 2020 3:57 AM GMT
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फाइल फोटो
भारत के मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) शरद अरविंद बोबडे की मां मुक्ता बोबडे को उनके केयरटेकर ने 2.5 करोड़ रुपये का चूना लगाया है. आरोपी तापस घोष को मंगलवार रात गिरफ्तार कर लिया गया. नागपुर पुलिस आयुक्त (सीपी) अमितेश कुमार ने कहा कि डीसीपी विनीता साहू की देखरेख में एक विशेष जांच दल (एसआईटी) इस मामले को देख रही है.
दरअसल, सीजेआई एसए बोबडे की मां मुक्ता बोबडे, आकाशवाणी स्क्वायर के पास स्थित सीडन लॉन की मालकिन हैं, जो विवाह और अन्य कार्यों के लिए किराए पर दिया जाता है. बोबडे परिवार ने तापस घोष को 2007 में सीडन लॉन का केयरटेकर नियुक्त किया था. उसे सैलरी के अलावा बुकिंग पर कमीशन मिलता था.
मुक्ता बोबडे की उम्र और स्वास्थ्य का लाभ उठाते हुए तापस घोष और उनकी पत्नी ने पैसों के लेन-देन में हेराफेरी की. नागपुर पुलिस के सीपी अमितेश कुमार के मुताबिक, तापस घोष ने बुकिंग किया, लेकिन उसका पैसा बोबडे परिवार को नहीं दिया, तापस ने कई कस्टमर को कथित रूप से जाली रसीदें भी दी थी.
नागपुर पुलिस के सीपी अमितेश कुमार ने कहा कि इस धोखाधड़ी का खुलासा लॉकडाउन के दौरान हुआ, जब कई बुकिंग रद्द हुई, लेकिन लोगों को उनका रिफंड नहीं मिला. ग्राहकों की शिकायत के बाद मुक्ता बोबडे ने अगस्त में धोखाधड़ी की शिकायत दर्ज कराई थी. इस पर आर्थिक अपराध शाखा के अधिकारियों ने एक एसआईटी का गठन किया था.
सीपी अमितेश कुमार ने कहा कि 2017 के बाद से सभी बुकिंग की छानबीन की गई, जिसमें पता चला कि तापस घोष ने बोबडे परिवार को ढाई करोड़ रुपये का चूना लगाया है. सीपी अमितेश कुमार ने कहा कि तापस ने सौर प्रणाली स्थापना और कुछ निर्माण कार्य के बिलों का भुगतान भी नहीं किया है.
एसआईटी ने अपनी जांच के दौरान तापस घोष से पूछताछ की थी. मंगलवार देर रात SIT के अधिकारियों ने तापस घोष और उनकी पत्नी के खिलाफ IPC की धारा 409 (आपराधिक विश्वासघात), 420 (धोखाधड़ी) और 467 (जालसाजी) के तहत शहर के सीताबर्डी पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज किया और तापस घोष को गिरफ्तार कर लिया.
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