राजस्थान। वस्त्रनगरी भीलवाड़ा में कोरोना से बचाव के लिए लागू लॉकडाउन का जायजा लेने के लिए बिना सरकारी तामझाम के साइकिल से निकले जिला कलेक्टर को रास्ते में एक महिला कांस्टेबल ने रोक लिया. कांस्टेबल ने साइकिल सवार कलेक्टर से पूछा कि कहां जा रहे हो? वस्तुस्थिति का पता चलने पर कांस्टेबल थोड़ी घबरा गई, लेकिन कलेक्टर ने कांस्टेबल के इस कार्यशैली की प्रशंसा करते हुए कहा- वैरी गुड इसी तरह मुस्तैद रहो.
दरअसल, मंगलवार को जिला कलेक्टर शिव प्रसाद एम नकाते शहर में लॉकडाउन का जायजा लेने के लिए सुबह-सुबह साइकिल पर सवार होकर निकल पड़े. हालांकि, कलेक्टर के शहर में राउंड पर निकलने की सूचना पुलिस को मिल चुकी थी, लेकिन उन्हें इस बात का अंदाजा कतई नहीं था कि वे साइकिल पर घूम रहे हैं. इस दौरान रास्ते में गुलमंडी इलाके में ड्यूटी पर तैनात महिला पुलिसकर्मी निर्मला स्वामी टी शर्ट पहने कलेक्टर को पहचान नहीं पाईं और उन्होंने उनको रोक लिया. इस पर कलेक्टर वहीं रुक गये.
कांस्टेबल ने कलेक्टर नकाते को पूछा कि कहां जा रहे हो, घर में रहो भाई. इसी दौरान कलेक्टर के पीछे आ रहे गनमैन ने धीरे से कहा मैडम किसे रोक रही हैं...यह साहब हैं. इतने में ही जिला कलेक्टर नकाते बोल पड़े- मैं डीएम हूं. इस पर कांस्टेबल थोड़ी सपकपा गईं, लेकिन कलेक्टर नकाते ने महिला कांस्टेबल के इस व्यवहार को बहेद सामान्य तरीके से लेते हुए उनकी मुस्तैदी की सराहना की और शाबााशी दी. उसके बाद कलेक्टर विभिन्न नाकों से होते हुए निकले और पुलिस के जवानों से मिले.
कांस्टेबल निर्मला ने बताया कि वह और उनका बेटा दोनों कोरोना पॉजिटिव हो चुके हैं. इसलिए वह नहीं चाहती कि कोई और भी कोरोना की चपेट में आए. निर्मला का कहना है कि आंकड़े कम हुए हैं, कोरोना नहीं. वह कोरोना के दर्द को जानती हैं, इसलिए लोगों से अपील कर रही हैं कि घर में रहो. बकौल निर्मला अब कलेक्टर साब को क्या पड़ी है जो वह आपके लिए सुबह-सुबह सड़कों पर घूमकर समझा रहे हैं. बीमारी की गंभीरता को समझें.