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इस प्रकरण की वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हुई थी।
बुलंदशहर: यूपी विधानसभा चुनावों में सपा-रालोद गठबंधन प्रत्याशी की सभा में व्हाट्सएप पर इस्तीफा देकर अफसरों व नेताओं पर उत्पीड़न का आरोप लगाने वाले वन दरोगा को सस्पेंड कर दिया गया है। मेरठ से वन विभाग के उच्चाधिकारियों ने उनपर यह कार्रवाई की है। अफसरों ने दरोगा के इस्तीफे को भी निरस्त कर दिया है। वायरल वीडियो के आधार पर डीएफओ ने जांच रिपोर्ट मेरठ भेजी थी। इस प्रकरण की वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हुई थी।
बुलंदशहर सदर वन रेंज में तैनात वन दरोगा अजित भड़ाना ने विधानसभा चुनावों के दौरान मेरठ विधानसभा में एक सपा प्रत्याशी की जनसभा में नौकरी से इस्तीफा देने की घोषणा की थी। कई भाजपा विधायकों के नाम लेकर उन्होंने सीधा आरोप लगाया कि वह उन्हें नौकरी नहीं करने दे रहे हैं। उसी दौरान किसी ने इसका वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया था। इसके बाद विभाग में हड़कंप मच गया और डीएफओ विनीता सिंह ने इसकी जांच रिपोर्ट तैयार कर मेरठ वन विभाग के उच्चाधिकारियों को भेज दी थी।
30 जनवरी को इस्तीफा अफसरों को भेज दिया था। उसके बाद विभाग ने नोटिस जारी किया था, जिसका जवाब दे दिया गया। विभाग अब तैनाती वाले कार्यालयों से अनापत्ति प्रमाणपत्र मांग रहा है। कब निलंबित किया, इसकी जानकारी नहीं है
वीडियो वायरल मामले में वन दरोगा की रिपोर्ट बनाकर मेरठ उच्चाधिकारियों को भेजी गई थी। वन दरोगा को सस्पेंड कर दिया गया है, उसी दौरान रिपोर्ट तैयार की गई थी। विभाग की रिपोर्ट पर यह कार्रवाई हुई है। विनीता सिंह, डीएफओ
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