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जेपी नड्डा के आरोप पर कांग्रेस का पलटवार, कहा -कांग्रेस पर दोष मढ़ने की आदत से भाजपा की नहीं गई

Apurva Srivastav
11 May 2021 2:38 PM GMT
जेपी नड्डा के आरोप पर कांग्रेस का पलटवार, कहा -कांग्रेस पर दोष मढ़ने की आदत से भाजपा की नहीं गई
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कोरोना महामारी के खिलाफ लड़ाई को राजनीतिक मुद्दा बनाने के भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा के आरोपों पर कांग्रेस ने पलटवार करते हुए कहा है

कोरोना महामारी के खिलाफ लड़ाई को राजनीतिक मुद्दा बनाने के भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा के आरोपों पर कांग्रेस ने पलटवार करते हुए कहा है कि सात साल से सत्ता में होने के बावजूद हर चीज का दोष कांग्रेस पर मढ़ने की आदत से भाजपा अब भी बाज नहीं आ रही है।

राज्यसभा में नेता विपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने भाजपा सरकार पर हमला करते हुए कहा कि भारत यह नहीं भूलेगा कि जब हमारे नागरिक अपनी जिंदगी की सांसों के लिए संघर्ष कर रहे थे तब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रैली में व्यस्त थे और अपने लिए महल बनवा रहे थे।
नड्डा द्वारा कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को लिखे गए बेहद तीखे पत्र पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए खड़गे ने ट्वीट के जरिए बयान जारी कर भाजपा अध्यक्ष के आरोपों को खारिज किया। खड़गे ने कहा कि नड्डा यह बताएं कि भारत दुनिया का फार्मेसी हब है फिर भी हमारी केवल 1.8 फीसद आबादी को दोनों डोज मिल पाए हैं। हमारी 130 करोड़ की आबादी के लिए वैक्सीन के 34.6 करोड़ डोज का ही आर्डर क्यों दिया गया। इसमें से भी छह करोड़ डोज निर्यात किए गए।
खड़गे ने भाजपा अध्यक्ष को सरकार की कोरोना प्रबंधन नीतियों की खामियां बताते हुए कहा कि संसाधनों का सही तरीके से इस्तेमाल कर देश को मौजूदा गहरे संकट से उबारने के बजाय सरकार ने वैक्सीन का निर्यात किया। कोरोना के दौर में चुनाव को एक साथ कराने से इनकार किया और संक्रमण फैलाने वाले सुपर स्प्रेडर कार्यक्रमों का आयोजन किया।
कांग्रेस शासित राज्यों पर नड्डा के उठाए सवालों का जवाब देते हुए नेता विपक्ष ने कहा कि कांग्रेस की सरकारों ने 18 साल के ऊपर के सभी लोगों को मुफ्त वैक्सीन लगाने की घोषणा कर दी है। लेकिन यह निराशा की बात है कि संसद से वैक्सीन के लिए 35,000 करोड़ रुपये की मंजूरी मिल जाने के बाद भी भाजपा सरकार इस राशि का उपयोग नहीं कर रही है। ऐसे में कांग्रेस को पत्र लिखने की बजाय उन्हें देश से माफी मांगनी चाहिए।
वरिष्ठ कांग्रेस नेता पी. चिदंबरम ने भी नड्डा के सोनिया गांधी को लिखे पत्र को आधारहीन करार दिया। इससे पूर्व उन्होंने कोरोना महामारी के आंकड़ों को दबाने, सही तस्वीर पेश नहीं करने की बात उठाते हुए कहा कि पारदर्शिता के अभाव के चलते कोरोना के खिलाफ लड़ाई ज्यादा जटिल होगी।


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