सेना के जवान की मौत का मामला, शव रखकर लोगों ने किया चक्काजाम
पुलिसकर्मी उपद्रवियों का गुस्सा देखकर भाग खड़े हुए. उसके बाद भीड़ को काबू में करने के लिए मौके पर पहुंचे आला अधिकारियों ने कई थानों की फोर्स और पीएसी के जवानों को बुलाया और लाठीचार्ज के बाद भीड़ को तितर-बितर कर स्थिति को नियंत्रण में किया. हालांकि परिजनों को धनंजय यादव के पार्थिव शरीर को अंतिम संस्कार के लिए मना लिया गया है.अधिकारियों ने मान-मनौवल के बाद परिजन अंतिम संस्कार के लिए राजी किया है.
मिली जानकारी के अनुसार गोरखपुर के चौरीचौरा थानाक्षेत्र के राघवपट्टी पड़री गांव के रहने वाले सेना के जवान 30 वर्षीय धनंजय यादव पुत्र रामनाथ यादव माता-पिता के इकलौती संतान थे. वे 2016 में शिक्षक बनकर सेना में भर्ती हुए. वे असम में तैनात रहे हैं. वहां पर चार दिन पहले उनकी संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई.
सेना ने बताया कि जवान धनंजय ने सुसाइड कर लिया है. जबकि घरवालों का कहना है कि वो आतंकियों के हमले में शहीद हुआ है. तीन दिन से कैंप से लापता धनंजय की लाश कैंप से कुछ ही दूरी पर बरामद हुई थी. तभी से घरवाले और चौरीचौरा के लोग उसके पार्थिव शरीर के आने का इंतजार कर रहे थे. संदिग्ध परिस्थितियों में मौत होने की वजह से उसे गार्ड ऑफ ऑनर नहीं दिया गया और उसके परिवार को मुआवजा भी नहीं मिला.