विजयन सरकार पर भड़के सुप्रीम कोर्ट,बोला- MLA जनता के नुमाइंदे, वो कैसे माइक फेंक सकते हैं, जानिए पूरा मामला
केरल विधानसभा में छह साल पहले हुए हंगामे के मामले में सुप्रीम कोर्ट की तरफ से लेफ्ट डेमोक्रेटिक फ्रंट के विधायकों को राहत नहीं दी गयी है। अदालत ने सोमवार को कहा कि एमएलए जनता के नुमाइंदे हैं, वो कैसे माइक फेंक सकते हैं? आचरण को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता है। न्यायालय ने 2015 में केरल विधानसभा में हुए हंगामे के सिलसिले में दर्ज एक आपराधिक मामले से जुड़ी याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए यह टिप्पणी की। यह घटना राज्य में पिछली कांग्रेस नीत यूडीएफ शासन के दौरान हुई थी। न्यायालय ने कहा कि यह अवश्य सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि सदन में शिष्टाचार बना रहे। न्यायमूर्ति डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति एम आर शाह की पीठ ने केरल विधानसभा की घटना का जिक्र करते हुए कहा, ''प्रथम दृष्टया, हमें इस तरह के व्यवहार का कड़ा संज्ञान लेना होगा। इस तरह का व्यवहार अस्वीकार्य है। ''