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सोशल मीडिया एक जाल...विंग कमांडर के साथ हुई 1.99 करोड़ की ठगी, फिर...सन्न रह गई पुलिस
jantaserishta.com
24 March 2024 4:08 AM GMT
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सांकेतिक तस्वीर
खाते खुलवाने के लिए लोगों को जाल में फंसाता।
आगरा: स्टॉक ट्रेडिंग मोटे मुनाफे का झांसा देकर विंग कमांडर के साथ 1.99 करोड़ की ठगी हुई थी। साइबर थाना पुलिस ने साइबर अपराधियों के गैंग से जुड़े दो आरोपियों को पकड़ा है। एक इंडसइंड बैंक में कर्मचारी है। एमबीए की पढ़ाई कर रहा है। वह शातिरों के लिए चालू खाते खुलवाया करता था। दूसरा आरोपित खाते खुलवाने के लिए लोगों को जाल में फंसाता था।
डीसीपी सिटी सूरज कुमार राय ने बताया कि विंग कमांडर जार्ज जोसेफ के साथ घटना हुई थी। उनकी तहरीर पर धोखाधड़ी और आईटी एक्ट की धाराओं में मुकदमा लिखा गया। एसीपी हरीपर्वत आदित्य के निर्देशन में साइबर थाना पुलिस ने मामले की जांच शुरू की। पता चला कि आरोपित सोशल मीडिया पर लोगों को जाल में फंसाते हैं। फेसबुक, इंस्टाग्राम और टेलीग्राम पर लोगों से जुड़ते हैं। खुद को शेयर ट्रेडिंग का गुरु बताकर लोगों को सलाह देते हैं। उनका भरोसा जीतते हैं। ट्रेडिंग में मोटा मुनाफा कराने का झांसा देकर। रकम विभिन्न खातों में ट्रांसफर कराते हैं। बैंकों में फर्जी कंपनी दर्शाकर चालू खाते खुलवाए जाते थे। ताकि मोटे लेन-देन पर बैंक वाले शक नहीं करें। खातों में आने वाली कुछ रकम निकाल ली जाती थी कुछ दूसरे खातों में घुमा दी जाती थी। पुलिस को शक है कि गैंग के कुछ सदस्य विदेश में भी रहते हैं। वहां से ऑन लाइन खातों को ऑपरेट किया करते थे। हालांकि इस संबंध में अभी विस्तृत जांच जारी है।
एसीपी हरीपर्वत आदित्य ने बताया कि पुलिस ने जो आरोपित पकड़े उनसे पूछताछ के बाद कई और लोगों के नाम पता चले। ये आरोपित अलग-अलग प्रदेशों के निवासी हैं। उनकी तलाश शुरू कर दी गई है।
साइबर थाना पुलिस ने साइबर क्राइम कर रहे शातिरों के 40 से अधिक खाते फ्रीज कराए हैं। खातों में छह करोड़ से अधिक की रकम बताई जा रही है। खाते फ्रीज होने के बाद विंग कमांडर को उनकी रकम वापस मिलने की उम्मीद जाग गई है।
साइबर थाना पुलिस ने संजय गांधी नगर, नौबस्ता (कानपुर नगर) निवासी अभिषेक मिश्रा व गोपालनगर कालोनी (कानपुर नगर) निवासी विकास त्रिवेदी को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने बताया कि अभिषेक गैंग के लिए बिना सत्यापन आईडी पर चालू बैंक खाते खुलवाने में मदद किया करता था। खातों में आने वाली रकम के हिसाब से उसे कमीशन मिला करता था। अभिषेक एमबीए की पढ़ाई भी कर रहा है। इंडसइंड बैंक में काम करता है। विकास इंटरमीडिएट पास है। उसका काम लोगों को अपने जाल में फंसाकर उनकी आईडी पर फर्जी फर्म के कागज तैयार कराना और खाते खुलवाना था। विकास ने अपनी आईडी पर भी एक खाता खुलवा रखा था। उसे हर महीने खाते का किराया और उसमें आने वाली रकम का कमीशन मिला करता था।
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