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नई दिल्ली: हिंदी भाषा को लेकर तमिलनाडु के उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. के. पोनमुडी के बयान पर शिवसेना के राज्यसभा सांसद शिवसेना सांसद का भी बयान सामने आया है। उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से 'एक देश, एक भाषा' की अपील की है।
संजय राउत ने कहा, ''मैं हिंदी भाषा का सम्मान करता हूं और संसद में भी बोलता हूं। पूरा देश समझता है। मैं गृह मंत्री अमित शाह से 'एक देश, एक विधान, एक भाषा' बनाने का अनुरोध करता हूं। सभी को भाषा का सम्मान करना चाहिए।''
शिवसेना नेता संजय राउत हिंदी भाषा को लेकर जारी बहस और तमिलनाडु के शिक्षा मंत्री के बयान पर प्रतिक्रिया दे रहे थे।
आपको बता दें कि तमिलनाडु के उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. के. पोनमुडी ने हिंदी को लेकर एक विवादित बयान दिया है। पोनमुडी ने कहा कि भाषा के रूप में अंग्रेजी हिंदी से कहीं ज्यादा अहमियत रखती है। यही नहीं, जो लोग हिंदी बोलते हैं, वे छोटे-मोटे काम करते हैं। उन्होंने यहां तक कह दिया कि हिंदी बोलने वाले कोयंबटूर में पानीपुरी बेच रहे हैं।
पोनमुडी ने यह विवादित बयान कोयंबटूर की भारथिअर यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह में दिया। उन्होंने कहा, हिंदी केवल एक वैकल्पिक भाषा होनी चाहिए, अनिवार्य नहीं। उन्होंने राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 को लागू करने का वादा किया, लेकिन राज्य सरकार दो भाषाओं के फॉर्मूले की अपनी नीति को जारी रखेगी। उन्होंने तमिलनाडु के राज्यपाल आरएन रवि की मौजूदगी में यह सवाल उठाया कि हिंदी क्यों सीखनी चाहिए, जबकि अंग्रेजी जैसी अंतरराष्ट्रीय भाषा पहले से ही राज्य में सिखाई जा रही है। तमिल बोलने वाले छात्र किसी भी भाषा को सीखने के इच्छुक हैं, लेकिन हिंदी उनके लिए वैकल्पिक होनी चाहिए न कि अनिवार्य।
यह पहला मौका नहीं है, जब पोनमुडी ने हिंदी का सार्वजनिक तौर पर अपमान किया है। इसके पहले भी उन्होंने कहा था कि भारत में केवल एक भाषा बोलना स्वीकार नहीं किया जा सकता। उनका यह बयान तब आया था, जब केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के हिंदी को अंग्रेजी का ऑप्शन बताने पर गैर हिंदी भाषी राज्यों में विवाद हुआ। तब भी उन्होंने दूसरों से बात करने के लिए अंग्रेजी और अपने राज्य के लोगों से बात करने के लिए लोकल भाषा जानने की बात कही थी।
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