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न्यूज़ क्रेडिट: आजतक
नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट को लेकर दिए गए कपिल सिब्बल के बयान से अब उनके ही बेटे ने किनारा कर लिया है. कपिल सिब्बल के बेटे अखिल सिब्बल ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट के प्रति नकारात्मक सोच का हल सकारात्मक कानूनी उपाय में छिपा है.
कोर्ट में भरोसा खत्म होने की बात करना गंभीर अपराध है. कोर्ट की अवमानना जनता में ऐसा खौफ पैदा करेगी कि फिर से अदालत, कानून और संविधान में विश्वास जगाना मुश्किल होगा.
बता दें कि कपिल सिब्बल ने 6 अगस्त को कहा था कि मुझे सुप्रीम कोर्ट से कोई उम्मीद नहीं बची है. अदालत के आदेश और जमीनी हकीकत में बहुत बड़ा अंतर बताते हुए सिब्बल ने कहा था कि लोगों को सड़कों पर आना होगा. अगर आपको लगता है कि सुप्रीम कोर्ट आपको न्याय देगा, तो आप गलत हैं. मैं यह बात 50 साल के अनुभव के साथ कह रहा हूं.
उन्होंने कहा था कि जिस कोर्ट में जजों को समझौते की प्रक्रिया के जरिए बनाया जाता है, जिस कोर्ट में यह सिस्टम नहीं है कि कौन किस तरह के मामलों की सुनवाई करेगा, जिस कोर्ट में सीजेआई फैसला करते हैं कि यह मामला इस बेंच के पास जाएगा, कब जाएगा, कब सुना जाएगा. ऐसा होने पर अदालत कभी स्वतंत्र नहीं हो सकती है.
सिब्बल ने इस दौरान जकिया जाफरी के मामले और ईडी के एक्शन को लेकर आए फैसले पर भी नाराजगी जाहिर की थी. उन्होंने आगे कहा था,'मैंने भी इस कोर्ट में 50 साल काम किया है. मुझे यह पसंद नहीं है कि मैं कोर्ट के बारे में ये बातें कह रहा हूं, लेकिन समय आ गया है. हम नहीं करेंगे तो कौन करेगा?
उन्होंने आगे कहा था कि वास्तविकता यह है कि जो भी संवेदनशील मामले हैं, जिसमें हम जानते हैं कि समस्या है. वे चुनिंदा न्यायाधीशों के समक्ष सूचीबद्ध हैं. जब ऐसे मामले अदालत के सामने पेश होते हैं तो हम जानते हैं कि परिणाम क्या होने वाला है.
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