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झारखंड उच्च न्यायालय ने साहिबगंज महिला थाना प्रभारी रूपा तिर्की की अस्वाभाविक मौत के मामले में सोमवार को पुलिस उप निरीक्षक शिव कुमार कनौजिया को जमानत दे दी
झारखंड उच्च न्यायालय ने साहिबगंज महिला थाना प्रभारी रूपा तिर्की की अस्वाभाविक मौत के मामले में सोमवार को पुलिस उप निरीक्षक शिव कुमार कनौजिया को जमानत दे दी।
जमानत याचिका पर सुनवाई के बाद न्यायमूर्ति अंबुज नाथ ने शिव कुमार कनौजिया को 25,000 रुपये के दो निजी मुचलकों पर जमानत दी। वर्ष 2018 बैच की पुलिस उप निरीक्षक तिर्की ने गत मई में साहिबगंज में अपने सरकारी आवास में कथित तौर पर आत्महत्या कर ली थी। तिर्की के सहकर्मी रहे कनौजिया को इस मामले में गिरफ्तार किया गया था।
जांच के बाद पुलिस ने निष्कर्ष निकाला था कि कनौजिया द्वारा तिर्की की भावनाओं को आहत किया गया था, जिसके कारण तिर्की ने आत्महत्या की। जमानत याचिका पर सुनवाई के दौरान अदालत को बताया गया कि कनौजिया सीधे तिर्की के संपर्क में नहीं थे।
कुमार के वकील ने तर्क दिया कि तिर्की साहिबगंज में तैनात थी, जबकि चाईबासा में तैनात कनौजिया ने किसी भी तरह से मृतक की भावनाओं को आहत नहीं किया था। अदालत ने बचाव पक्ष के वकील की दलीलों से संतुष्ट होकर कनौजिया को जमानत दे दी।
तिर्की की मृत्यु के तुरंत बाद, उनके पिता देवानंद उरांव ने अदालत के समक्ष एक रिट याचिका दायर कर अपनी बेटी की मौत की स्वतंत्र जांच की मांग की थी। तिर्की के पिता ने दावा किया था कि यह आत्महत्या नहीं है बल्कि उसकी हत्या की गई है। इससे पहले सितंबर में झारखंड उच्च न्यायालय ने रूपा तिर्की की मौत के मामले में सीबीआई जांच का आदेश दिया था।
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