भारत
पेगासस हैकिंग को लेकर प्रियंका गांधी ने केंद्र पर साधा निशाना, बोली- 'सरकार ने निजता के अधिकार पर शुरू किया गंभीर हमला'
Deepa Sahu
19 July 2021 11:54 AM GMT
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पेगासस स्पाइवेयर के माध्यम से विपक्षी नेताओं, मंत्रियों और पत्रकारों के फोन हैक होने की खबरों को लेकर कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा ने केंद्र सरकार पर निशाना साधा है.
पेगासस स्पाइवेयर के माध्यम से विपक्षी नेताओं, मंत्रियों और पत्रकारों के फोन हैक होने की खबरों को लेकर कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा ने केंद्र सरकार पर निशाना साधा है. कई मीडिया वेबसाइट्स की रिपोर्ट में कहा गया कि भारतीय मंत्रियों, विपक्षी नेताओं, पार्टी कार्यकर्ताओं और पत्रकारों के फोन नंबर उस लीक डेटाबेस में पाए गए हैं, जिसमें इजरायली स्पाइवेयर 'पेगासस' का इस्तेमाल किया गया था.
प्रियंका गांधी वाड्रा ने ट्वीट करते हुए लिखा, "अगर ये रिपोर्ट्स सही हैं, तो लगता है कि मोदी सरकार ने निजता के अधिकार पर गंभीर और भयावह हमला किया है." प्रियंका गांधी ने कहा, "पेगासस को लेकर हो रहे खुलासे घृणित हैं. अगर यह सच है, तो ऐसा लगता है कि मोदी सरकार ने निजता के अधिकार पर एक गंभीर और भयावह हमला शुरू कर दिया है. मौलिक अधिकार के रूप में भारतीय नागरिकों को संवैधानिक रूप से गारंटी दी गई है. यह लोकतंत्र का अपमान है और हमारी स्वतंत्रता पर बुरा प्रभाव डालता है."
The #Pegasus revelations are abhorrent. If true, the Modi government seems to have launched a grave and sinister attack on the Right to Privacy - constitutionally guaranteed to Indian citizens as a Fundamental Right. This is an affront to democracy and has.. 1/2
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) July 19, 2021
राहुल गांधी ने भी सरकार पर कसा तंज
इससे पहले, कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने भी पेगासस हैकिंग की रिपोर्ट को लेकर सरकार पर तंज कसा था. राहुल गांधी ने अपने ट्वीट में लिखा था, "हम जानते है कि 'वो' जो भी आपके फोन में है, सब पढ़ रहे हैं. दरअसल बीते दिनों अंतरराष्ट्रीय मीडिया द्वारा दावा किया गया है कि पेगासस सॉफ्टवेयर के इस्तेमाल से भारत (India) में कई पत्रकारों, नेताओं और अन्य लोगों के फोन हैक किए गए थे. इसके लिए इजरायली कंपनी एनएसओ ग्रुप के हैकिंग साफ्टवेयर पेगासस का इस्तेमाल किया गया
'हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा खतरे में'- अधीर रंजन चौधरी
मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि लीगल कम्युनिटी से जुड़े लोग, बिजनेसमैन, सरकारी अधिकारी, वैज्ञानिक, एक्टिविस्ट और अन्य के नंबर इस लिस्ट में शामिल हैं. साथ ही कहा कि इस लिस्ट में 300 से ज्यादा भारतीय मोबाइल नंबर हैं. पेगासस स्पाइवेयर के मुद्दे पर लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने सोमवार को कहा कि वह इस मुद्दे को संसद में उठाएंगे. चौधरी ने कहा कि हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा खतरे में है. निश्चित रूप से सदन में पेगासस स्पाइवेयर का मुद्दा उठाया जाएगा.
'रिपोर्ट गलत और आधारहीन'- आईटी मंत्री
वहीं, लोकसभा में केंद्र सरकार का पक्ष रख रहे आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा, "रिपोर्ट कहती है कि डेटा में फोन नंबर्स की मौजूदगी से हैक की पुष्टि नहीं होती." उन्होंने कहा, "डेटा से यह साबित नहीं होता कि सर्विलांस हुआ है. NSO ने भी कहा है कि रिपोर्ट गलत है और आधारहीन है." अश्विनी वैष्णव ने सर्विलांस के प्रोटोकॉल्स को गिनाते हुए कहा कि किसी तरह का अवैध सर्विलांस हमारे सिस्टम में संभव नहीं है.
निगरानी संबंधी आरोपों को सरकार ने किया खारिज
केंद्र सरकार ने अपने स्तर से खास लोगों की निगरानी संबंधी आरोपों को खारिज किया है. सरकार ने कहा, "इससे जुड़ा कोई ठोस आधार या सच्चाई नहीं है." सरकार ने मीडिया रिपोर्टों को खारिज करते हुए कहा, "भारत एक लचीला लोकतंत्र है और वह अपने सभी नागरिकों के निजता के अधिकार को मौलिक अधिकार के तौर पर सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है."
क्या काम करता है पेगासस सॉफ्टवेयर?
पेगासस एक मैलवेयर है जो आईफोन और एंड्रॉइड डिवाइस को हैक कर लेता है. इससे मैलवेयर भेजने वाला शख्स उस फोन मे मौजूद मैसेज, फोटो और ईमेल तक को देख सकता है. इतना ही नहीं, यह साफ्टवेयर उस फोन पर आ रही कॉल को रिकॉर्ड भी कर सकता है. इस साफ्टवेयर से फोन के माइक को गुप्त रूप से एक्टिव किया जा सकता है.
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