कोरोना की तीसरी लहर पर भविष्यवाणी, IIT प्रोफेसर ने बताया सबकुछ

प्रोफेसर अग्रवाल ने कहा कि 11 जनवरी तक मिले डेटा से आकलन हुआ था कि 23 जनवरी के आसपास 7.2 लाख केसों के साथ देश पीक पर पहुंचेगा, लेकिन इसमें बदलाव शुरू हो गए हैं. उम्मीद है कि पीक पर नए केस 4 लाख के पार नहीं जाएंगे. अब तक देश में मिले केसों के एक प्रतिशत से भी कम मरीजों को अस्पताल में बेड की जरूरत पड़ी है. उन्होंने कहा कि पॉजिटिव लोगों के संपर्कों की ट्रेसिंग में मिले बिना लक्षण वालों के टेस्ट न करने का आईसीएमआर के आदेश का अब तक पालन नहीं हुआ है, लेकिन बदलाव दिखने लगा है. इसकी दो वजह मानी जा सकती हैं. पहली आबादी में एक ऐसा समूह जिसके शरीर में ओमिक्रोन से लड़ने की क्षमता कम है और दूसरे समूह में भरपूर इम्यूनिटी है. जिनमें इम्यूनिटी कम देखी गई, वहां ओमिक्रॉन ज्यादा फैला और केस बढ़े.
कुछ एक्सपर्ट्स ने कहा था कि भारत के कुछ बड़े शहरों में अगले कुछ दिनों में कोरोना संक्रमण के मामले पीक पर होंगे. हालांकि दिल्ली और मुंबई जैसे महानगरों का हेल्थ डिपार्टमेंट बता रहा है कि यहां कोरोना का पीक आ चुका है और केस में कमी देखी जा रही है. प्रोफेसर मनींद्र अग्रवाल की रिपोर्ट के अलावा स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की तरफ से पब्लिश की गई रिपोर्ट में दावा किया गया है कि भारत में कोरोना की तीसरी लहर की पीक अगले दो हफ्तों में यानी जनवरी के आखिर तक आ सकती है.
कोरोना की तीसरी लहर की पीक को लेकर IIT के प्रोफेसर्स ने मैथमैटिक्स मॉडल के हवाले से बताया था कि कैसे कोरोना का पीक दिल्ली और मुंबई में गुजर गया है. अगर आंकड़े देखेंगे तो ऐसा लगता भी है कि दिल्ली और मुंबई में मामले कम हो रहे हैं. दिल्ली में मंगलवार को 11 हजार 684 नए कोरोना संक्रमित मिले. पॉजिटिविटी रेट 22.47 % रहा. इसमें कल के मुकाबले 7 प्रतिशत कम केस रिकॉर्ड हुए. इसी तरह मुंबई में भी आज 6149 नए मरीजों की पहचान हुई.
