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पुलिस ने IPS अफसर को किया गिरफ्तार, डीजीपी का बड़ा बयान, ये है पूरा मामला

jantaserishta.com
5 Sep 2023 5:47 AM GMT
पुलिस ने IPS अफसर को किया गिरफ्तार, डीजीपी का बड़ा बयान, ये है पूरा मामला
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वह खुद को एनकाउंटर स्पेशलिस्ट बताता था।
गुवाहाटी: असम में एक बिजनसमैन से जबरन उगाही के मामले में नौ लोगों को गिरफ्तार किया गया है जिनमें एक सीनियर पुलिसकर्मी भी शामिल है। राज्य के अपराध जांच विभाग (CID) का कहना है कि एक स्थानीय कारोबारी ने पुलिस पर उगाही के आरोप लगाए थे। इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक कारोबारी ने आरोप लगाया था कि पुलिस ने उसे हिरासत में ले लिया था और ढाई करोड़ रुपये की मांग की जा रही थी। उसे धमकी दी गई कि अगर इतने पैसे नहीं दिए तो एनकाउंटर कर दिया जाएगा और बाद में उसे जिहादी बता दिया जाएगा। अपनी शिकायत में इस्लाम ने कहा कि जो शख्स उन्हें धमकी दे रहा था वह खुद को एनकाउंटर स्पेशलिस्ट बताता था।
असम पुलिस ने 2014 बैच के आईपीएस अदिकारी सिद्धार्थ बुरागोहान को गिरफ्तार किया है। कुछ दिन पहले ही उनका बालाजी एसपी के पद से असम पुलिस के हेडक्वार्टर में ट्रांसफर हुआ था। इसके अलावा डीएसपी पुश्कल गोगोई, अडिशनल सुपरिंटेंडेंट ऑफ पुलिस गायत्री सोनोवाल, उनके पति सुभाष चंदर, सब इंस्पेक्टर देवजीत गिरि और कॉन्स्टेबल इंजामामुल हसन को भी गिरफ्तार किया गया है। उनके अलावा तीन अन्य लोगों की गिरफ्तारी हुई है।
असम के डीजीपी जीपी सिंह ने कहा कि उन्हें शिकायत मिली थी कि बालाजी के पुलिस अधिकारी पैसे मांग रहे हैं। इसके बाद सतर्कता और एंटी करप्शन विभाग ने जांच शुरू की। प्रथम दृष्ट्या शिकायत सही पाई गई इसलिए एफआईआर दर्ज कर ली गई। पुलिस ने कहा कि कानूनी कार्रवाई की जा रही है। इस्लाम की शिकायत के आधार पर सीआईडी ने एफआईआर दर्ज की थी। इसमें जान से मारने की धमकी, हत्या की कोशिश और अन्य धाराएं शामिल थीं।
इस्लाम ने आरोप लगया था कि 16 जुलाई को पुलिस ने उनके घर पर छापा मारा था और उनपर ड्रग्स कैश केस का आरोप लगाकर थाने ले गए थे। जबकि उन्हें इस बारे में कोई जानकारी नहीं थी। उन्होंने कहा कि पुलिस अधिकारियों ने थाने में उनके साथ मारपीट भी की। इसके बाद उनके दो रिश्तेदारों को भवानीपुर पुलिस स्टेशन ले जाया गया। अगले दिन एसपी के आवास पर उन्हें ले जाया गया। उनके पास कुछ अवैध सामान भी रख दिया गया। इसके बाद दोबारा थाने में लाकर उनके साथ मारपीट की गई। जबकि उनके खिलाफ कोई अरेस्ट वॉरंट भी नहीं था।
कारोबारी ने कहा कि एक पुलिसवाला और दो अन्य लोग उन्हें लेकर एक डिटर्जेंट फैक्ट्री में गए और भागने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि डीजी पुलिस ने उनका एनकाउंटर करने का आदेश दिया है। तभी दूसरा शख्स आया और उसने कहा कि जिहादी लिंक वाली बात स्वीकार कर लो। जब कारोबारी ने यह बात मानने से इनकार किया तो बंदूक की नोक पर ढाई करोड़ रुपये की मांग की गई। कोरोबारी ने कहा कि उसने डर के मारे 10 लाख रुपये दिए। उनका आरोप है कि एएसपी गायत्री सोनोवाल उनसे अलग से ढाई करोड़ रुपये मांग रही थीं।
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