दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 17वां G-20 शिखर सम्मेलन में हिस्सा लेने के लिए इंडोनेशिया के बाली के लिए रवाना हुए। G-20 शिखर सम्मेलन 15-16 नवंबर को होगा।
पीएम बाली में दुनिया के 10 बड़े नेताओं के साथ अलग से ताबड़तोड़ बैठकें करेंगे। दुनिया के 20 बड़े देशों के इस समूह का नेतृत्व भी एक दिसंबर को भारत को मिलने वाला है। ऐसे में भारत की कूटनीति इंडोनेशिया के बाली में परवान चढ़ सकती है। यहां अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन, ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक, फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, जर्मन चांसलर ओलाफ शोल्ज, चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग भी शामिल होंगे। G20 की अगले साल होने वाली बैठक का लोगो और थीम जारी करते हुए पिछले दिनों पीएम ने कहा था कि पूरी दुनिया में अनिश्चितता और संकट का माहौल है। जी-20 की अगली बैठक सितंबर 2023 में नई दिल्ली में होगी।
पीएम ने कहा है कि जी-20 की बैठक एक अवसर है, जहां हम भारत की परंपरा और ज्ञान को एक साथ दुनिया को दिखा सकते हैं। ऐसे में बाली में जब पीएम बोलेंगे तो वह भारत की हजारों साल पुरानी संस्कृति की बौद्धिकता और आधुनिकता से परिचय करा सकते हैं। जी-20 शिखर सम्मेलन में रूस-यूक्रेन युद्ध, चीन और पश्चिमी देशों के बीच तनाव जैसे मुद्दे हावी रहने की संभावना है। समझा जा रहा है कि अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस जैसे देश मिलकर यूक्रेन पर हमले को लेकर रूस को घेरने की पूरी कोशिश करेंगे। मौजूदा खाद्य और ऊर्जा संकट के लिए भी पुतिन के ऐक्शन को जिम्मेदार ठहराने की कोशिश होगी। ऐसे समय में भारत के रुख पर दुनिया की नजरें होंगी।