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महबूबा के 'नजरबंदी' के दावे के बाद पी. चिदंबरम ने केंद्र पर साधा निशाना

jantaserishta.com
6 Aug 2023 4:50 AM GMT
महबूबा के नजरबंदी के दावे के बाद पी. चिदंबरम ने केंद्र पर साधा निशाना
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नई दिल्ली: जम्मू एवं कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री और पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती के इस दावे के बाद कि उन्हें घर में नजरबंद रखा गया है, कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी. चिदंबरम ने रविवार को केंद्र की भाजपा नीत सरकार पर तंज किया। उन्‍होंने कहा, "जम्मू-कश्मीर की सरकार और एलजी उस 'शांति' का जश्न मना रहे हैं, जो अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के बाद राज्य (अब यूटी) में आई है। मैं पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति जॉन एफ कैनेडी को उद्धृत करना चाहता हूं, जिन्होंने कब्र की शांति और गुलाम की चुप्पी के खिलाफ चेतावनी दी थी।'' चिदंबरम ने एक ट्वीट में सरकार पर हमला करते हुए जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 370 के निरस्त होने की चौथी वर्षगांठ का जिक्र किया।
पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा, "अगर जम्मू-कश्मीर में इतनी शांति है, तो सरकार ने महबूबा मुफ्ती को घर में नजरबंद क्यों कर दिया है और पीडीपी व एनसी (नेशनल कॉन्फ्रेंस) के कार्यालयों को सील क्यों कर दिया है? पूरे भारत में स्वतंत्रता का दमन किया गया है, लेकिन जम्मू-कश्मीर में यह सबसे ज्यादा है।"
शनिवार को ट्वीट्स की एक श्रृंखला में मुफ्ती ने लिखा, "मुझे आज अन्य वरिष्ठ पीडीपी नेताओं के साथ घर में नजरबंद कर दिया गया है। मेरी पार्टी के कई लोगों को पुलिस स्टेशनों में अवैध रूप से हिरासत में लिया गया है।"
सरकार पर हमला करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा, "सुप्रीम कोर्ट में सामान्य स्थिति के बारे में भारत सरकार के झूठे दावे उनके कार्यों से उजागर हो गए हैं।" अनुच्छेद 370 को निरस्त करने के चौथे वर्ष के पूरा होने पर, जम्मू-कश्मीर के एलजी मनोज सिन्हा ने कहा, "5 अगस्त, 2019 को, प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने भेदभावपूर्ण प्रणाली को समाप्त कर दिया था, जो अलगाववाद और भाई-भतीजावाद को बढ़ावा देती थी। उन्होंने शांति, सम्मान व सुरक्षा की शुरुआत की।"
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