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भुवनेश्वर (आईएएनएस)| ओडिशा पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) ने एक और नौकरी धोखाधड़ी रैकेट का भंडाफोड़ किया है जिसने राज्य के कम से कम 200 नौकरी चाहने वालों के साथ ठगी की, पुलिस अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी। ईओडब्ल्यू ने सोमवार को दो मुख्य आरोपियों राजकिशोर पटनायक और अरुण मोहंती को गिरफ्तार किया है। दोनों आरोपी बालासोर जिले के मूल निवासी हैं और भुवनेश्वर में रह रहे थे।
पीड़ितों में से एक, भुवनेश्वर की कुमुदिनी साहू के आरोप पर दर्ज मामले में कार्रवाई करते हुए गिरफ्तारी की गई। कुमुदिनी ने आरोप लगाया था कि, गिरफ्तार आरोपियों ने एक अन्य घोटालेबाज भवानी शंकर दास के साथ मिलकर ओडिशा सरकार के नियुक्ति पत्र, लोगो और मुहर जैसे जाली दस्तावेज दिखाकर सरकारी नौकरी का झांसा देकर 8.15 लाख रुपये की ठगी की।
अधिकारी ने कहा कि घोटालेबाजों ने स्कूल चपरासी के पद के लिए सुशांत कुमार मुदुली से 1.05 लाख रुपये, खोरधा समाहरणालय में चपरासी के पद के लिए दीपक कुमार नायक से 4.50 लाख रुपये, दीपू बिस्वाल से राजभवन, भुवनेश्वर आदि में चपरासी की नौकरी के लिए 2 लाख रुपये और ऐसे ही अन्य नौकरी चाहने वालों से ठगी की।
ईओडब्ल्यू ने पाया कि इन ठगों ने ओडिशा के सैकड़ों नौकरी के इच्छुक उम्मीदवारों को जाली/मनगढ़ंत सरकारी पत्र, लोगो, चयन सूची आदि दिखाकर ठगा है। दोनों घोटालेबाजों के घरों की तलाशी के दौरान सरकारी नियुक्ति पत्र, लोक सेवा भवन और सचिवालय के ज्वाइनिंग लेटर सहित सैकड़ों आपत्तिजनक जाली दस्तावेज, सैकड़ों रिज्यूमे, बायोडाटा, मार्कशीट, आवेदन पत्र और चपरासी, क्लर्क, फायर मैन, सुरक्षा आदि विभिन्न पदों के उम्मीदवारों के फर्जी नियुक्ति पत्र सहित सैकड़ों फर्जी दस्तावेज बरामद हुए हैं।
मामले में अन्य आरोपियों का पता लगाने के लिए ईओडब्ल्यू की जांच जारी है। इससे पहले, आर्थिक अपराध शाखा ने एक अंतर-राज्य नौकरी धोखाधड़ी रैकेट पर नकेल कसी थी, जो ओडिशा सहित 17 राज्यों में चल रहा था।
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