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देहरादून/नैनीताल (आईएएनएस)| उत्तराखंड में नैनीताल जिले के 20 स्कूलों को मुख्य शिक्षा अधिकारी केएस रावत ने कारण बताओ नोटिस जारी किया है। दरअसल इन स्कूलों में वर्चुअल क्लासरूम को संचालित करने में वहां का स्टाफ कोई भी दिलचस्पी नहीं दिखा रहा था। यह लापरवाही मुख्य शिक्षा अधिकारी के पकड़ में आई है जिसके बाद से 20 स्कूलों को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है। जिसमें से बेतालघाट के 7, धारी के दो, हल्द्वानी के चार, रामगढ़ के दो और रामनगर के दो भीमताल ओखल कांडा और कोटाबाग का एक-एक स्कूल शामिल है।
दरअसल उत्तराखंड के 500 राजकीय विद्यालयों में 2019 के नवंबर महीने से वर्चुअल कक्षाओं की शुरूआत की गई थी। इसके अलावा राज्य स्कूली शिक्षा में वर्चुअल क्लासरूम प्रोजेक्ट शुरू किया गया था। और इनकी मॉनिटरिंग के लिए देहरादून में वर्चुअल स्टूडियो बनाया गया था, जिसमें स्टूडियो में विषय विशेषज्ञ शिक्षक बैठेंगे और स्कूलों से जुड़े रहेंगे ताकि शिक्षक विहीन स्कूलों में पढ़ाई अनवरत चलती रहे।
पिछले दिनों 11 नवंबर को पूर्व आईएएस और 21 नवंबर को राष्ट्रीय चैंपियन एथलीट के साथ वर्चुअल कक्षा के माध्यम से संवाद कार्यक्रम आयोजित किया गया। इस दौरान नैनीताल जिले के कई सरकारी स्कूल में कार्यक्रम में बच्चों को वर्चुअल कक्षा के जरिए दिखाया ही नहीं। इस लापरवाही को गंभीरता से लेते हुए इन सभी स्कूलों को नोटिस जारी किया गया है।
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