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कारखानों में श्रमिकों की उच्च मृत्यु दर पर एनएचआरसी का केंद्र और राज्यों को नोटिस

jantaserishta.com
2 Feb 2023 9:36 AM GMT
कारखानों में श्रमिकों की उच्च मृत्यु दर पर एनएचआरसी का केंद्र और राज्यों को नोटिस
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नई दिल्ली (आईएएनएस)| राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने पंजीकृत कारखानों में दुर्घटनाओं में श्रमिकों की उच्च मृत्यु दर और उनके मानवाधिकारों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए किए गए उपायों पर केंद्र, राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। रिपोर्ट 6 हफ्ते के भीतर देने की बात कही गई है। एनएचआरसी ने बताया कि उन्होंने मीडिया रिपोर्ट पर स्वत: संज्ञान लिया है जिसमें श्रम और रोजगार मंत्रालय के कारखाना सलाह सेवा एवं श्रम संस्थान महानिदेशालय के आंकड़ों के अनुसार 2017 से 2022 के बीच देश के पंजीकृत कारखानों में दुर्घटना से हर दिन औसतन 3 लोगों की मौत हुई और 11 लोग घायल हुए। कथित तौर पर, 2018 और 2020 के बीच 3331 मौतें दर्ज की गईं।
आयोग ने कहा कि कारखाना अधिनियम, 1948 के तहत अपराधों के लिए केवल 14 लोगों को सजा सुनाई गई थी। श्रम और रोजगार मंत्रालय के कारखाना सलाह सेवा एवं श्रम संस्थान महानिदेशालय ने केवल पंजीकृत कारखानों के मुख्य निरीक्षकों तथा औद्योगिक सुरक्षा और स्वास्थ्य के निदेशकों द्वारा उपलब्ध कराये गए आंकड़े ही एकत्रित कर प्रस्तुत किए, जबकि भारत में 90 फीसदी श्रमिक अनौपचारिक क्षेत्र में कार्यरत हैं। नई व्यावसायिक सुरक्षा और स्वास्थ्य संहिता पारित होने के दो साल बाद भी इसका कार्यान्वयन किया जाना अभी शेष है।
आयोग का मानना है कि मामले की गंभीरता को देखते हुए ये रिपोर्ट कारखानों सहित विभिन्न व्यावसायिक उद्यमों में श्रमिकों के मानवाधिकारों के बारे में गंभीर चिंताएं उजागर करती है। व्यापार और मानव अधिकारों की अवधारणा को उचित महत्व देते हुए कानून के दायरे में नियोक्ताओं और कर्मचारियों के बीच संरचना अनुबंधों या अन्य समझौतों के चरण में मानवाधिकार जोखिम को कम किया जा सकता है।
इसको लेकर आयोग ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के श्रम विभाग के सभी मुख्य सचिवों/प्रधान सचिवों को उनके अधिकार क्षेत्र में कारखानों में दुर्घटनाओं के कारण श्रमिकों की मृत्यु अक्षमता तथा कारखाना अधिनियम, 1948 की धारा 40बी के अनुसार घायलों/मृतकों के निकट परिजनों को दिया गया मुआवजा, कारखाने के मालिकों के खिलाफ चलाए गए मुकदमे और कारखानों में नियुक्त सुरक्षा अधिकारियों की संख्या के संबंध में विस्तृत रिपोर्ट प्रस्तुत करने नोटिस जारी किया है।
आयोग ने केंद्रीय श्रम और रोजगार मंत्रालय के सचिव को भी व्यावसायिक सुरक्षा, स्वास्थ्य और कार्य स्थिति संहिता के कार्यान्वयन के संबंध में की गई कार्रवाई और देश भर में कारखाना श्रमिकों के संबंध में मानवाधिकारों की स्थिति में सुधार के लिए किए गए या किए जाने वाले उपायों पर रिपोर्ट प्रस्तुत करने के लिए नोटिस जारी किया गया है।
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