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NHRC ने चीफ सेक्रेटरी को दिए निर्देश, बोले- कैंसर मरीजों का हो बेहतर इलाज, राज्य में ट्रीटमेंट सुनिश्चित करे सरकार

Kunti Dhruw
3 July 2021 2:40 PM GMT
NHRC ने चीफ सेक्रेटरी को दिए निर्देश, बोले- कैंसर मरीजों का हो बेहतर इलाज, राज्य में ट्रीटमेंट सुनिश्चित करे सरकार
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NHRC ने चीफ सेक्रेटरी को दिए निर्देश।

राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC) ने हाल ही में मिजोरम (Mizoram) के मुख्य सचिव को 'तंबाकू सेसेशन क्लीनिक' (Tobacco Cessation Clinics) स्कीम परियोजना के तहत, मिजोरम स्टेट कैंसर इंस्टीट्यूट (MSCI) के अपग्रेडेशन को पूरा करने और निश्चित समय सीमा के अंदर एक 50-बेड वाले नए कैंसर हॉस्पिटल (Cancer Hospital) के लिए काम करने का निर्देश दिया है.

मानवाधिकार आयोग का यह आदेश, एक प्रख्यात ह्यूमन राइट्स एक्टिविस्ट और सुप्रीम कोर्ट के वकील राधाकांत त्रिपाठी (Radhakanta Tripathy) द्वारा दायर याचिका पर फैसले के बाद आया है. भौगोलिक सीमा और जनसंख्या आकार के आधार पर मिजोरम सबसे ज्यादा कैंसर मरीजों वाला राज्य है. 2011 से 2016 के बीच मिजोरम में लगभग 3,137 लोगों की मौत कैंसर की वजह से हुई थी राधाकांत त्रिपाठी ने आरोप लगाया कि कैंसर को रोकने और इसे ठीक करने के लिए सरकार द्वारा कोई उचित कार्रवाई नहीं की गई. मानवाधिकार आयोग के विशेष प्रतिवेदक ने 2019 में मिजोरम में कैंसर मरीजों की स्थिति पर एक रिपोर्ट प्रस्तुत की थी और इस बीमारी को रोकने के लिए उठाए जाने वाले कदमों की सिफारिश की थी.
मिजोरम कैंसर से बुरी तरह प्रभावित
NHRC ने विशेष प्रतिवेदक की सिफारिश को ध्यान में रखते हुए, इस पर टिप्प्णी के लिए इस रिपोर्ट को त्रिपाठी को फॉर्वर्ड किया था और भारत सरकार के स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय के सचिव को मिजोरम में कैंसर मरीजों की समस्याओं का समाधान करने के लिए चिकित्सा उपकरण और चिकित्सा कार्यबल प्रदान करने का निर्देश दिया था. त्रिपाठी ने अपने जवाब में आयोग को बताया कि विशेष प्रतिवेदक द्वारा भेजी गई रिपोर्ट से यह स्पष्ट हो गया था कि मिजोरम राज्य कैंसर से बुरी तरह प्रभावित है और अधिकांश आबादी तंबाकू, ड्रग्स, हेरोइन, शराब आदि का सेवन कर रही है लेकिन इसके बावजूद अभी भी अधिकारियों द्वारा कैंसर के खतरे को रोकने के लिए कोई प्रभावी कदम नहीं उठाया गया है.
त्रिपाठी ने कहा, "पुलिस, आबकारी विभाग और औषधि निरीक्षणालय की विफलता और लापरवाही के कारण राज्य में कैंसर फैल गया है. इस स्थिति से निपटने के लिए राज्य में उचित बुनियादी ढांचे और सुविधाओं की कमी है. यहां तक ​​कि केंद्र ने भी 100 बेड वाले अस्पताल के निर्माण और लीनियर एक्सेलेरेटर की स्थापना के लिए राशि जारी नहीं की थी."
म्यांमार से हो रही थी ड्रग्स, हेरोइन की तस्करी
उन्होंने आगे कहा कि म्यांमार से Ephedrine और pseudoephedrine दवाओं की तस्करी और हेरोइन, एटीएस, इंजेक्टेबल ड्रग्स की तस्करी राज्य में हो रही थी, लेकिन इस गंभीर मुद्दे के संबंध में कोई सुधारात्मक और सतर्कता उपाय नहीं किए गए. एनएचआरसी ने त्रिपाठी की टिप्पणियों को मिजोरम सरकार के मुख्य सचिव को भेजा था और उन्हें इस पर की गई कार्रवाई रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया था.
NHRC के आगे के निर्देश के अनुसार, राज्य ने एक रिपोर्ट प्रस्तुत की जिसमें बताया गया कि राज्य द्वारा कैंसर के खतरे को रोकने के लिए 15 मुख्य कदम उठाए गए हैं. जागरूकता कार्यक्रम के अलावा राज्य द्वारा कैंसर, मधुमेह, हृदय रोग और स्ट्रोक की रोकथाम और नियंत्रण के लिए राष्ट्रीय कार्यक्रम के तहत, जागरूकता, कैंसर सहित गैर-संचारी रोगों का शीघ्र पता लगाने और प्रबंधन राज्य द्वारा किया जा रहा है. पुलिस विभाग द्वारा ऑपरेशन ग्रैंड स्लैम, ऑपरेशन फवांग, नशा विरोधी जागरूकता अभियान, कैनाइन स्क्वायड, विशेष नारकोटिक थाना स्थापित करना आदि का कार्य किया गया है.
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