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कुलभूषण जाधव मामले में अंतरराष्ट्रीय न्यायालय के फैसले को भारत गलत ढंग से कर रहा पेश, पाकिस्तान का आरोप

Kunti Dhruw
19 Jun 2021 6:06 PM GMT
कुलभूषण जाधव मामले में अंतरराष्ट्रीय न्यायालय के फैसले को भारत गलत ढंग से कर रहा पेश, पाकिस्तान का आरोप
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कुलभूषण जाधव मामले

पाकिस्तान (Pakistan) ने कुलभूषण जाधव (Kulbhushan Jadhav) मामले में भारत (India) पर अंतरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ) के फैसले को गलत ढंग से पेश करने का शनिवार को आरोप लगाया. साथ ही, जोर देते हुए कहा कि वह (पाकिस्तान) अंतरराष्ट्रीय कानून के तहत सभी दायित्वों को पूरा करने को तैयार है. भारत ने गुरुवार को पाकिस्तान से उस विधेयक में मौजूद खामियों को दूर करने को कहा था, जो जाधव के मामले की समीक्षा के लिए लाया गया है. भारत ने कहा था कि प्रस्तावित कानून इस पर पुनर्विचार करने का तंत्र नहीं गठित करता है, जबकि आईसीजे के आदेश में इसके लिए कहा गया है.

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने नई दिल्ली में कहा था कि समीक्षा और पुनर्विचार विधेयक 2020 आईसीजे के फैसले के अनुरूप जाधव के मामले में प्रभावी समीक्षा व पुनर्विचार का मार्ग प्रशस्त करने के लिए एक तंत्र गठित नहीं करता है. उन्होंने कहा था कि सरकार ने अंतरराष्ट्रीय कानून के दायित्वों का निर्वहन किया है या नहीं, इसे देश की अदालतें तय नहीं कर सकतीं.
क्या है कुलभूषण जाधव का पूरा मामला
भारतीय नौसेना के सेवानिवृत्त अधिकारी, 51 वर्षीय जाधव को पाकिस्तान की सैन्य अदालत ने जासूसी व आतंकवाद के आरोपों में अप्रैल 2017 में दोषी ठहराते हुए मौत की सजा सुनाई थी. भारत ने जाधव को राजनयिक पहुंच न देने और मौत की सजा को चुनौती देने के लिए अंतरराष्ट्रीय अदालत का रुख किया था, जिसने जुलाई 2019 के अपने फैसले में कहा था कि पाकिस्तान जाधव की दोषसिद्धि और सजा की अवश्य ही प्रभावी समीक्षा व पुनिर्वचार करे और बगैर किसी विलंब के राजनयिक पहुंच प्रदान करे.
पाकिस्तान के विदेश कार्यालय ने शनिवार को कहा कि इस्लामाबाद अपने सभी अंतरराष्ट्रीय दायित्वों का निर्वहन कर रहा है और यह जाधव के मामले में आईसीजे के फैसले पर भी लागू होता है. विदेश कार्यालय ने कहा, ''यह अफसोसजनक है कि भारत सरकार ने आईसीजे के फैसले को गलत ढंग से पेश करने का विकल्प चुना, जिसने (आईसीजे ने) पैराग्राफ 147 में स्पष्ट रूप से कहा है कि पाकिस्तान जाधव की दोषसिद्धि और सजा की प्रभावी समीक्षा व पुनर्विचार का विकल्प उपलब्ध कराने के लिए आबद्ध है.''
पाकिस्तान क्या लगा रहा आरोप
कार्यालय ने कहा कि आईसीजे के फैसले के पैराग्राफ 146 के अनुरूप पाकिस्तान ने (समीक्षा व पुनर्विचार) अध्यादेश, 2020 के जरिए अपने यहां जाधव को ऊपरी अदातलों में समीक्षा व पुनर्विचार का अधिकार उपलब्ध कराने का विकल्प चुना. विदेश कार्यालय ने कहा कि पाकिस्तान आईसीजे के फैसले को कायम रखने के लिए प्रतिबद्ध है. साथ ही, आईसीजे के फैसले के पैरा 118 के अनुसार भारत को भलमनसाहत के साथ कार्य करने और जाधव के लिए कानूनी प्रतिनिधित्व का इंतजाम करने की जरूरत है.
बयान के मुताबिक, अफसोस की बात है कि वकील की नियुक्ति के मुद्दे को उलझाने के लिए भारत जानबूझकर एक अभियान में शामिल है. नतीजतन, पाकिस्तान सरकार को कमांडर जाधव की खातिर एक वकील नियुक्त करने के लिए अदालत से अनुरोध करने के लिए इस्लामाबाद उच्च न्यायालय के समक्ष कार्यवाही शुरू करनी पड़ी.
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