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भारत-जापान द्विपक्षीय रक्षा सहयोग को और बढ़ाने पर सहमत

Admin Delhi 1
6 April 2023 12:06 PM GMT
भारत-जापान द्विपक्षीय रक्षा सहयोग को और बढ़ाने पर सहमत
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दिल्ली: जापान के अंतरराष्ट्रीय मामलों के रक्षा उप मंत्री ओका मसामी ने गुरुवार को नई दिल्ली में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह से मुलाकात की। बैठक के दौरान ओका ने रक्षा मंत्री को 7वें रक्षा नीति संवाद के दौरान हुई चर्चाओं के बारे में जानकारी दी। यह बैठक 05 अप्रैल को नई दिल्ली में रक्षा सचिव गिरिधर अरमाने के साथ हुई थी। जापानी मंत्री ने रक्षा उपकरण और प्रौद्योगिकी में सहयोग सहित द्विपक्षीय रक्षा सहयोग को और बढ़ाने के लिए जापान की उत्सुकता को दोहराया।

बैठक के बाद राजनाथ सिंह ने बताया कि भारत एक स्वतंत्र, खुले, सुरक्षित और नियम-आधारित इंडो-पैसिफिक के लिए जापान के दृष्टिकोण को साझा करता है। उन्होंने जोर दिया कि दोनों देशों को अपने द्विपक्षीय सहयोग के दायरे का विस्तार करना जारी रखना चाहिए। जापानी मंत्री ओका के साथ भारत में जापान के राजदूत सुजुकी हिरोशी भी थे, जिन्होंने द्विपक्षीय रक्षा संबंधों को मजबूत करने की दिशा में मजबूत और सकारात्मक नेतृत्व प्रदान करने के लिए रक्षा मंत्री को धन्यवाद दिया। इस अवसर पर रक्षा सचिव गिरिधर अरमाने भी उपस्थित थे।

भारत के रक्षा सचिव गिरिधर अरमाने और जापान के अंतरराष्ट्रीय मामलों के रक्षा उपमंत्री ओका मसामी ने बुधवार को नई दिल्ली में 7वीं भारत-जापान रक्षा नीति वार्ता की सह-अध्यक्षता की। भारत-जापान रक्षा नीति वार्ता के दौरान सैनिक अभ्यास और अन्य मुद्दों पर चर्चा हुई। बैठक के दौरान क्षेत्रीय सुरक्षा मुद्दों, रक्षा उपकरण और प्रौद्योगिकी में सहयोग सहित मुद्दों पर विचार-विमर्श किया गया। जापानी उप मंत्री ने हाल ही में जारी राष्ट्रीय सुरक्षा रणनीति और राष्ट्रीय रक्षा रणनीति के नीति संबंधी अपडेट भी प्रस्तुत किए। भारत और जापान ने रक्षा अंतरिक्ष और साइबर जैसे नए और उभरते क्षेत्रों में सहयोग करने पर सहमति जताई है।

रक्षा सचिव ने जोर देकर कहा कि दोनों देशों को अपने-अपने रक्षा उद्योगों के बीच सहयोग मजबूत करने का लक्ष्य रखना चाहिए। उन्होंने 'मेक इन इंडिया' पहल के तहत भारत में निवेश के अवसरों को देखने के लिए जापानी रक्षा उद्योगों को भी आमंत्रित किया। भारत और जापान ने मजबूत रक्षा साझेदारी के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दोहराई और द्विपक्षीय सहयोग को और बढ़ाने के अवसर तलाशने पर सहमत हुए। दोनों पक्षों ने पारस्परिक रूप से सुविधाजनक तारीखों पर अगली रक्षा नीति वार्ता आयोजित करने पर भी सहमति व्यक्त की।

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