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गर्भवती स्त्रियों के लिए आईआईटी और एम्स का 'स्वस्थगर्भ' मोबाइल ऐप

jantaserishta.com
27 Dec 2022 8:44 AM GMT
गर्भवती स्त्रियों के लिए आईआईटी और एम्स का स्वस्थगर्भ मोबाइल ऐप
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नई दिल्ली (आईएएनएस)| आईआईटी रुड़की ने एक 'स्वस्थगर्भ' स्मार्टफोन ऐप बनाया है। यह ऐप गर्भवती महिलाओं के लिए खास कर ग्रामीण क्षेत्रों की महिलाओं के लिए बहुत उपयोगी ऐप है जिन्हें आसानी से डॉक्टर उपलब्ध नहीं होते। गर्भावस्था के लिए यह पहला ऐप है जो रियल टाइम (तुरंत) डॉक्टर की सलाह सुनिश्चित करता है। यह क्लिनिकली प्रमाणित होने के साथ-साथ विश्वसनीय भी है। यह ऐप एम्स दिल्ली की मदद से तैयार किया गया है। यह गूगल प्ले स्टोर पर उपलब्ध है और इसका लाभ मरीज और डॉक्टर दोनों निशुल्क प्राप्त कर सकते हैं।
आईआईटी रुड़की के निदेशक प्रोफेसर के.के. पंत का कहना है कि कोविड-19 महामारी आने के बाद स्वास्थ्य सेवा में टेलीमेडिसिन का महत्व बढ़ गया है। आज पूरी दुनिया में एक अरब से अधिक लोग स्मार्टफोन इस्तेमाल करते है। इसमें चिकित्सा जगत को बदलने और बेहतर स्वास्थ्य सेवा देने की असीम संभावना है।
उन्होने बताया कि गर्भावस्था में ऐप का उपयोग अन्य किसी चिकित्सा से अधिक होता है। लेकिन ये ऐप केवल गर्भावस्था से संबंधित जानकारी देता है। इनमें चिकित्सकों की भागीदारी की कमी होती है। इसलिए आईआईटी रुड़की में बायोसाइंसेस और बायोइंजीनियरिंग विभाग के साहिल शर्मा और प्रो. दीपक शर्मा ने एम्स दिल्ली की प्रो. वत्सला उधवाल और प्रो. अपर्णा शर्मा के सहयोग से स्वस्थगर्भ ऐप तैयार किया है। यह प्रसवपूर्व देखभाल सुनिश्चित करने वाला इंटरेक्टिव प्लैटफॉर्म है जिसमें मरीज को केंद्र में रखते हुए सभी पहलुओं को शामिल किया गया है।
यह ऐप गर्भवती महिलाओं के लिए जरूरी सभी सहायता सुनिश्चित करता है जैसे कि नियमित रूप से समय पर प्रसव पूर्व देखभाल, हर एक क्लिनिकल टेस्ट का रिकॉर्ड रखना और समय पर दवा लेना। स्वस्थगर्भ ऐप के लाभों को सामने रखता एक शोध पत्र प्रतिष्ठित पीयर- रिव्यू आईईईई जर्नल ऑफ बायोमेडिकल एंड हेल्थ इंफॉर्मेटिक्स में प्रकाशित किया गया है।
शोध के बारे में विस्तार से बताते हुए आईआईटी रुड़की में बायोसाइंसेस और बायोइंजीनियरिंग विभाग के प्रोफेसर दीपक शर्मा ने कहा कि नवजात मृत्यु दर का अधिक होना गंभीर चिंता की बात है। इसके मद्देनजर विकसित स्वस्थगर्भ मोबाइल ऐप सभी गर्भवती महिलाओं को रियल टाइम चिकित्सा सहायता देगा और गर्भावस्था में मां शिशु स्वास्थ्य की स्थिति में सुधार करेगा। यह भारत व पूरी दुनिया की सभी महिलाओं के लिए आईआईटी रुड़की का उपहार है और यह प्रधानमंत्री के आत्मनिर्भर स्वस्थ भारत मिशन को आगे ले जाने में हमारी मदद करेगा।
ऐप को लाभदायक बताते हुए एम्स नई दिल्ली में डीन (रिसर्च) प्रो. रमा चौधरी ने कहा कि स्वस्थगर्भ ऐप गर्भावस्था की आम समस्याओं के संभावित समाधान देने में काफी उपयोगी होगा। हम घर-घर स्वस्थगर्भ ऐप पहुंचाना चाहते हैं। इसकी मदद से गर्भावस्था में मां शिशु का जीवन बचाना चाहते हैं क्योंकि जीवन अनमोल है।
प्रसूति और स्त्री रोग विभाग, एम्स नई दिल्ली की प्रो. वत्सला डधवाल के मुताबिक स्वस्थगर्भ ऐप से मरीजों और डॉक्टरों के आपस में संवाद होने से गर्भावस्था के बेहतर परिणाम मिलेंगे। हमारे पायलट स्टडी से पता चला है कि यह ऐप गर्भवती महिलाओं के साथ-साथ डॉक्टर भी इस्तेमाल कर रहे हैं। हम चाहते हैं कि अधिक से अधिक मरीज और डॉक्टर ऐप का उपयोग करें ताकि उपलब्ध स्वास्थ्य सेवाओं की गुणवत्ता बढ़े।
ऐप की उपयोगिता को लेकर 150 रोगियों के क्लिनिकल आकलन से यह स्पष्ट है कि इससे प्रसव पूर्व देखभाल की गुणवत्ता बढ़ी है और इस दौरान समस्याएं कम हुई हैं।
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