हल्द्वानी: गर्मी के सीज़न में ठंडे उत्पादों की मार्केट अचानक से बढ़ जाती है। लोगो को लस्सी, छांछ, कुल्फी और आइसक्रीम तो जैसे हर दिन, हर पहर चाहिए। आइसक्रीम बनाने वाली कंपनियां गर्मियों के दिनों में रिकॉर्ड तोड़ कमाई करती हैं। ऐसे में गत वर्ष पशुपालन एवं दुग्ध विकास मंत्री सौरभ बहुगुणा ने आँचल के विभिन्न उत्पाद बनाने पर फोकस किया। इसके बाद आंचल ने बाल मिठाई और तमाम उत्पादों के बाद गर्मी के सीज़न में आइसक्रीम बनाना शुरू की, जोकि लोगो को काफी पसंद आई। बता दें कि गत वर्ष उत्तराखंड के आपने आँचल ने कैंडी आइसक्रीम, डिब्बे वाली आइसक्रीम, फ्लेवर्ड ब्रिक आदि बाजार में बेचे थे।
उत्तराखंड डेरी कॉपरेशन के प्रशासक जयदीप अरोरा ने बताया कि गत वर्ष की तरहइस वर्ष भी उपभोक्ताओं को आँचल की आइसक्रीम मार्च माह से उपलब्ध कराई जाएगी। उन्होंने बताया कि उनकी आइसक्रीम शुद्घ दूध से बनाई जाती है। गौरतलब है कि समय-समय पर यह चर्चा होती आई है कि निजी कंपनियों द्वारा पौष्टिकता का ध्यान नहीं रखा जाता, लेकिन आंचल शुद्ध दूध की आइसक्रीम तैयार कर रहा है। जिससे लोगों को सिर्फ अच्छा स्वाद ही नहीं बल्कि पौष्टिकता भी मिलेगी।
प्रशासक अरोरा का कहना है कि गत वर्ष आँचल ने दीवावली के अवसर पर बाल मिठाई, प्लेन पेड़ा, ड्राईफ्रूट पेड़ा, सहित कई प्रकार की मिठाई उपभोक्ताओं को उपलब्ध कई थी। इस वर्ष होली के अवसर पर भी उपभोक्ताओं को मिठाई उपलब्ध कई जाएगी। उन्होंने बताया कि वर्तमान में मिठाइयां त्यौहार के समय में बनाई जाती थी, लेकिन आगामी वर्ष में संभावना हैं कि आँचल उपभोक्ताओं को साल के 365 दिन उनकी मिठाई कराई जाए।