हिजाब मामला: हाईकोर्ट के निर्णय पर केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने दिया बड़ा बयान
दिल्ली। हिजाब विवाद को लेकर कर्नाटक हाईकोर्ट ने आज अहम फैसला सुनाया. कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि हिजाब पहनना इस्लाम की अनिवार्य प्रथा का हिस्सा नहीं है. उन्होंने कहा कि शिक्षण संस्थान इस तरह के पहनावे और हिजाब पर बैन लगा सकते हैं. कोर्ट के हिजाब फैसले पर केंद्रीय अल्पसंख्यक मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि मुस्लिम लड़कियों को फॉर्मल एजुकेशन से अलग करने की ये साजिश थी.
उन्होंने कहा, "हिजाब को लेकर जो हंगामा था, ये शुद्ध रूप से मुस्लिम लड़कियों को फॉर्मल एजुकेशन से काटने की कोशिश थी. साथ ही साथ ये भी स्पष्ट है कि भारत में हिजाब पर प्रतिबंध नहीं है, लेकिन संस्थाएं जिनके अपने कुछ अनुशासन, ड्रेस कोड और डिकॉरम होते हैं, उसका सम्मान करना चाहिए और इसी बात को कोर्ट ने कहा है."
वहीं, केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा, "हाईकोर्ट के निर्णय का स्वागत करता हूं. सभी लोगों से अपील करता हूं कि देश और राज्य को आगे बढ़ाएं. हम सबको शांति का माहौल बनाकर रखना है. छात्रों का मूलभूत काम अध्ययन और ज्ञान अर्जित करना है. सब लोग एक होकर पढ़ाई करें."
हाईकोर्ट ने आज हिजाब पर फैसले के साथ मुस्लिम छात्राओं की तरफ से कॉलेजों में हिजाब पहनने को लेकर इजाजत मांगने वाली याचिका को भी खारिज कर दिया. कर्नाटक हाईकोर्ट की तरफ से कई याचिकाओं को खारिज किया गया है, जो शैक्षिक संस्थाओं में इजाजत को लेकर दायर की गई थी. हाईकोर्ट के फैसले से पहले राज्य में कड़ी सुरक्षा के इंतजाम किए गए. कोप्पल, गडग, दावणगेरे, कलबुर्गी, हासन , शिवामोगा, बेलगांव, चिक्कबल्लापुर, बेंगलुरु और धारवाड़ में धारा 144 लागू कर दी गई है. शिवामोगा में स्कूल कॉलेज बंद कर दिए गए थे.