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ताज सेट्स में नौकरी दिलवाने के नाम पर चल रहे फर्जीवाड़े का हुआ पर्दाफाश, 12 आरोपी गिरफ्तार

Deepa Sahu
23 Jun 2021 5:24 PM GMT
ताज सेट्स में नौकरी दिलवाने के नाम पर चल रहे फर्जीवाड़े का हुआ पर्दाफाश, 12 आरोपी गिरफ्तार
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मुंबई की सहार पुलिस ने एक ऐसे गिरोह का पर्दाफाश किया है

मुंबई: मुंबई की सहार पुलिस ने एक ऐसे गिरोह का पर्दाफाश किया है जो कि ताज कंपनी में नौकरी दिलवाने के नाम पर लोगों की ठगी करता था. इस मामले में पुलिस ने 12 लोगों को गिरफ्तार किया है. और भी आरोपी गिरफ्तार किए जा सकते हैं. सहार पुलिस के सूत्रों ने बताया कि 19 जून को ताज सेट्स कंपनी के एचआर मैनेजर टीनू सुले को जानकारी मिली थी कि एक ऐसा गिरोह लोगों को ताज सेट्स में नौकरी दिलवाने के नाम पर लोगों को लूट रहा है. इसके बाद टीम ने एक सदस्य को उस फर्जी नौकरी देने वाली कंपनी में जाकर खुद इंटरव्यू देने को कहा और फिर इस गिरोह की जानकारी पुलिस को दी.

ताज ने अपनी शिकायत में सहार पुलिस को बताया कि उनकी टीम को सोशल मीडिया पर एक एडवरटाइजमेंट दिखाई दी थी जिसमे एक कंपनी जिसका नाम यूनिवर्सल ग्रुप है वो लोगों को ताज सेट्स में नौकरी दिलवाने का दावा कर रही थी.
इसके बाद ताज कंपनी ने एक फर्जी ग्राहक उनके पास भेजा तो पता चला कि वो लोग इनके पास आये लोगों एंट्री फीस के नाम पर 2000 रुपये लेते थे और फिर इंटरव्यू करते थे और फिर ट्रेनिंग में आने को कहते थे. एक बार पैसे भर देने के बाद ये लोगों को टालना शुरू कर देते थे. ताज के डिकोय (फर्जी नौकरी पाने का इक्षुक) ने पाया कि यूनिवर्सल ग्रुप में 100 से ज्यादा लोग नौकरी की उम्मीद में आते है और फंस जाते हैं.
ताज ने यह भी कहा कि ताज ने लोगों को नौकरी देने के लिए किसी भी बाहर की एजेंसी को जिम्मेदारी नहीं सौंपी है. वे लोग खुद ही जरूरत के मुताबिक रिक्रूटमेंट का काम करते हैं. शिकायत के बाद सहार पुलिस ने मामला दर्ज कर एक दर्जन यानी के 12 से ज्यादा लोगों को गिरफ्तार किया. ज़ोन 8 के डीसीपी मंजूनाथ सिंगे ने इस जानकारी की पुष्टि की और कहा हम आगे की जांच कर रहे हैं. वहीं यूनिवर्सल ग्रुप के वकील राकेश सिंह ने बताया कि यह मामला पूरी तरह से गलत है, पुलिस ने जिनको गिरफ्तार किया है उन्हें यह नहीं पता कि आखिर सोशल मीडिया पर उनके नाम का इस्तेमाल कर किसने इश्तिहार डाला था.
इस मामले में गिरफ्तार आरोपियों के नाम हुसैन मोटारवाला, मोहम्मद अब्दुल, शेख इमरान अली, अजित पटवारी, अब्दुल कादिर सैफुद्दीन मोटारवाला, नितेश चौरसिया, मोहम्मद नदीम मोहम्मद सगीर, अविनाश सैनी, फैजान नवाब खान, आयात फरदीन शेख, रजिया अब्दुल कादिर मोटारवाला, शकीना सैफुद्दीन मोटारवाला उर्फ सानिया है. पुलिस ने आईपीसी की धारा 419, 420, 500 और 120 (ब) और इन्फॉर्मेशन टेक्नीलोजी की धारा 66, 66 (क), 66 (ड) के तहत मामला दर्ज कर किया है.
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