गायब है पूर्व कमिश्नर परमबीर सिंह, एजेंसियों ने जताई देश छोड़कर जाने की आशंका
मुंबई पुलिस के पूर्व कमिश्नर परमबीर सिंह (Param Bir Singh) से जुड़े मामलों की जांच कर रही एजेंसियों और लोगों को लगता है कि वो भारत से भाग गए हैं. परमबीर सिंह 7 अप्रैल को राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) के सामने पेश हुए थे. उन्हें एंटीलिया बम मामले (Antillia Bomb Case) में समन जारी किया गया था. एंटीलिया मामले के बाद 17 मार्च को परमबीर सिंह का ट्रांसफर होम गार्ड डिपार्टमेंट में कर दिया गया था. उन्होंने 22 मार्च को अपना पद संभाला था और कहा जाता है कि 4 मई तक वो ऑफिस आए थे. उसके बाद स्वास्थ्य कारणों का हवाला देकर 5 मई से छुट्टी पर चले गए. ऐसा कहा गया था कि वो अपने होम टाउन चंडीगढ़ में हैं. मई और अगस्त के बीच उन्होंने कई बार महाराष्ट्र सरकार से छुट्टी बढ़ाने की मांग की थी. कहा गया था कि उनकी सर्जरी हुई है और उन्हें बेड रेस्ट का बोला गया है.
इसके बाद अगस्त के दूसरे हफ्ते में उन्होंने एक बार फिर से छुट्टी बढ़ाने को कहा और 29 अगस्त तक छुट्टी पर चले गए. लेकिन इसके बाद से उनसे कोई कम्युनिकेशन नहीं हुआ. एनआईए के अधिकारियों ने भी उन्हें अगस्त के दूसरे हफ्ते में समन भेजा था, लेकिन वो नहीं मिले. इसी बीच मार्च में जस्टिस केयू चांदीवाल की कमेटी ने परमबीर सिंह को कम से कम 4 बार तलब किया. ये कमेटी परमबीर सिंह के महाराष्ट्र के पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख (Anil Deshmukh) पर लगाए आरोपों की जांच कर रही है. परमबीर सिंह ने अपने वकीलों के जरिए हलफनामे दाखिल किए, लेकिन पेश नहीं हुए. उनके वकीलों ने कहा कि वो वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेश हो सकते हैं लेकिन दूसरे वकीलों ने इसका विरोध किया.
कमेटी ने कई बार उन पर भारी जुर्माना लगाया और दो बार जमानती वॉरंट भी जारी किया. जांच एजेंसियों के अधिकारी कई बार परमबीर सिंह के मुंबई, चंडीगड़ और रोहतक स्थित घर भी गए, लेकिन वो वहां नहीं मिले. उनका फोन भी स्विच ऑफ आ रहा है.
एनआईए और कमेटी के अलावा महाराष्ट्र सरकार को भी अपने होमगार्ड के अधिकारी की तलाश है. परमबीर सिंह के दोस्त भी उन्हें ढूंढ रहे हैं. परमबीर सिंह के खिलाफ 5 केस दर्ज हैं. पहला केस ठाणे और आखिरी केस मुंबई में दर्ज किया गया है. अगस्त के बीच में उनके खिलाफ लुक आउट सर्कुलर (LOC) भी जारी किया गया था. लुक आउट सर्कुलर एक नोटिस होता है जो किसी व्यक्ति को देश छोड़ने से रोकता है. इस मामले में जब परमबीर सिंह के वकीलों से सवाल किया गया तो उन्होंने विशेषाधिकार का हवाला देते हुए कुछ भी कहने से मना कर दिया. लेकिन इस बीच महाराष्ट्र सरकार परमबीर सिंह को निलंबित करने पर भी विचार कर रही है. महाराष्ट्र के गृह मंत्री दिलीप वलसे पाटिल ने कहा कि अगर परमबीर सिंह बिना किसी इजाजत के देश से बाहर गए हैं तो उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी.