गोहाना। क्षेत्र के गांव आहुलाना स्थित शुगर मिल की सुचारु रूप से शुरुआत नहीं होने से किसानों का हल्ला बोल देखने को मिला है। किसानों का आरोप है कि प्रशासन ने औपचारिकता क़े तौर पर 5 दिन पहले शुगर मिल का शुभारंभ किया गया था। किसानों को गन्ने की पर्चियां भी नहीं भेजी गई हैं। प्रशासन बार-बार किसानों को गुमराह कर रहा है। किसानों ने कहा है कि शुगर मिल प्रशासन के आश्वासन पर लेबर को बुलाया गया था, लेकिन थाना का शुगर मिल ना चलने के कारण मजदूर वापस लौट रहे हैं। किसानों पर दोहरी मार पड़ रही है। किसानों ने ऐलान किया है कि शाम तक अगर शुगर मिल की शुरुआत नहीं होती तो कल किसान अपना गन्ना लेकर शुगर मिल के गेट के सामने हल्ला बोल करेंगे और शुगर मिल गेट पर तालाबंदी करेंगे। वहीं गोहाना शुगर मिल के एमडी आशीष वशिष्ठ ने आश्वासन दिया है कि किसानों को पर्चियां भेज दी जाएंगी और शाम को ही शुगर मिल शुरू हो जाएगी। आहुलाना शुगर का 2023-24 का पिराई सत्र का शुभारंभ 5 दिन पहले शुरू किया गया था, लेकिन शुगर मिल प्रशासन की तरफ से किसानों को अभी तक गन्ना लाने की पर्चियां भी नहीं भेजी गई। शुगर मिल शुरुआत नहीं होने से किसानों का हल्ला बोल देखने को मिला है।
किसानों ने आक्रोशित होकर जमकर नारेबाजी करते हुए शुगर मिल गेट पर तालाबंदी करने का ऐलान किया था। हालांकि मौके पर गोहाना शुगर मिल एमडी आशीष वशिष्ठ ने मौके पर पहुंचकर किसानों को आश्वासन दिया है। आज किसानों को पर्चियां भेजी जाएंगी। किसानों का कहना है कि गोहाना का शुगर मिल चलाने को लेकर बार-बार किसानों को गुमराह किया जा रहा है। किसानों का आरोप है कि उन्हें बार-बार आश्वासन पर आश्वासन दिया जा रहा है और अभी तक शुगर मिल की शुरुआत नहीं हुई है। हालांकि औपचारिक तौर पर 5 दिन पहले विधिवत रूप से पिराई सत्र का शुभारंभ किया गया था, लेकिन शुगर मिल एक दिन भी नहीं चल पाया। जिसके चलते किसान काफी परेशानी उठा रहे हैं। किसानों का कहना है कि शुगर मिल एमडी द्वारा शाम तक मिल चलाने का आश्वासन दिया है। किसानों का यह भी आरोप है कि किसानों को अभी तक पर्चियां नहीं भेजी गई हैं। बिना पर्चियां के किसान अपने गन्ने की छिलाई नहीं करवा सकता है और वहीं किसानों ने एक बार फिर ऐलान यह किया है कि शाम तक के किसानों को पर्चियां नहीं भेजी गई तो किसान मजबूर होकर शुगर मिल पर ताला लगाएंगे। वहीं किसान नेता सत्यवान नरवाल ने बताया कि प्रशासन यह कह रहा है कि नया बॉयलर लगाया गया है, लेकिन बॉयलर लगाना था तो समय पर लगाना चाहिए था। किसान नेता का यह भी कहना है कि समय पर गन्ना शुगर मिल में न पहुंचने के कारण किसान अपनी गेहूं की बिजाई भी नहीं कर पा रहे हैं। शुगर मिल लेट होने के कारण किसानों को भारी परेशानी झेलनी पड़ रही है।