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मुंबई: बीएमसी कमिश्नर इकबाल सिंह चहल को ईडी ने समन्स भेजा है. उन्हें सोमवार को पूछताछ के लिए हाजिर होने को कहा गया है. उन्हें यह समन्स कथित कोविड सेंटर घोटाला मामले में भेजा गया है. बीजेपी नेता किरीट सोमैया ने कोरोना काल में कोरोना सेंटर में मेडिकल इक्विपमेंट्स खरीदने के मामले में घोटाला होने का आरोप लगाया था. इसी संदर्भ में पूछताछ के लिए मुंबई महानगरपालिका आयुक्त को ईडी ने कागजात के साथ सोमवार को बुलाया है. आरोप है कि कोविड सेंटर के कॉन्ट्रैक्ट बेनामी कंपनियों को देकर 100 करोड़ के घोटाले को अंजाम दिया गया था.
कोविड काल में बीएमसी की ओर से कोविड सेंटर में मेडिकल सर्विस और इक्विपमेंट्स जुटाने के लिए बाहरी कंपनियों को कॉन्ट्रैक्ट दिए गए. इस दौरान लाइफ लाइन हॉस्पिटल मैनेजमेंट सर्विसेस कंपनी को वरली और दहिसर में जम्बो कोविड सेंटर का कॉन्ट्रैक्ट मिला था. लेकिन यह कंपनी बोगस थी और इसका मेडिकल फील्ड में कोई तजुर्बा नहीं था. बीजेपी किरीट सोमैया का आरोप है कि बोगस कंपनी को कॉन्ट्रैक्ट देकर 100 करोड़ रुपए के घोटाले को अंजाम दिया गया.
लाइफ लाइन हॉस्पिटल मैनेजमेंट सर्विसेस कंपनी के नाम जून 2020 से मार्च 2022 तक कोविड सेंटर का कॉन्ट्रैक्ट रहा. यह कंपनी नई होने और इसके पास अनुभव ना होने की वजह से पीएमआरडीए के अध्यक्ष होने के नाते तत्कालीन मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने इस कंपनी को कोई भी ठेका ना देने की निर्देश दिया था. इसके बावजूद बीएमसी ने इस कंपनी का काम जारी रखा. इस वजह से इस कंपनी और कंपनी के पार्टनर के विरोध में किरीट सोमैया ने आजाद मैदान पुलिस स्टेशन में फरवरी 2022 में एक सामान्य शिकायत दर्ज करवाई और अगस्त में केस भी दर्ज करवा दिया.
अब इसी केस के आधार पर मुंबई पुलिस की इकॉनॉमिक ऑफेंस विंग, आईटी डिपार्टमेंट और ईडी ने मिलकर जांच शुरू की. इसी जांच के क्रम में बीएमसी से जुड़ी कुछ ठोस जानकारियां सामने आईं. बीएमसी से इस पर जवाब मांगा गया तो लगातार टालमटोल होने लगा. इसलिए अब कमिश्नर इकबाल सिंह चहल को नोटिस भेज कर पूछताछ के लिए बुलाया गया है.
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