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रिमझिम बारिश ने बढ़ाई धरतीपुत्रों की चिंता, फसल समेटने में जुटे

Shantanu Roy
17 April 2024 12:02 PM GMT
रिमझिम बारिश ने बढ़ाई धरतीपुत्रों की चिंता, फसल समेटने में जुटे
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राजसमंद। राजसमंद तहसील मुख्यालय सहित आसपास के गांवों में शुक्रवार को भी सुबह से ही बादल छाए रहे। वहीं, दोपहर के बाद हवाओं और मेघ गर्जना के साथ रिमझिम बारिश का दौरा शुरू हुआ। इससे फसलों को लेकर किसानों की चिंता काफी बढ़ गई है। ऐसे में धरतीपुत्र खेतों में कटी पड़ी हुई फसलों को सुरक्षित स्थान पर रखने में जुट गए हैं। किसान बाबूलाल, डालचंद, शंकरलाल व मोहनलाल आदि ने बताया कि खेतों में फसल पककर तैयार है तथा काफी किसानों ने फसल को काट भी लिया है। ऐसे में आसमान में मंडराते बादलों और रिमझिम बारिश से फसलों को नुकसान की आशंका है। इसको लेकर किसान पककर तैयार फसलों को समेटने में लगे हुए हैं। किसानों ने बताया कि अगर एक सप्ताह वर्षा का दौर ना चले तो क्षेत्र में गेहूं का बंपर उत्पादन संभव है।

पिछले दिनों से चल रहा बेमौसम बारिश का दौर शुक्रवार को तीसरे दिन भी जारी रहा। इसके चलते कहीं बूंदाबांदी तो कहीं बारिश हुई। क्षेत्र में शुक्रवार को सुबह के समय आसमान साफ रहने से काश्तकारों ने राहत महसूस की, लेकिन दोपहर बाद फिर से बादलों ने डेरा डालना शुरू कर दिया। क्षेत्र के गिलूण्ड, कुण्डिया, पछमता, पनोतिया, दामोदरपुरा, सोनियाणा, खड़बामनिया आदि गांवों में शाम को करीब सवा पांच बजे बादलों की तेज गर्जनों के साथ रिमझिम बारिश हुई। तीसरे दिन भी लगातार बारिश का दौर चलने से रबी फसलों की लिवाई का कार्य प्रभावित हुआ है। खेतों में कटाई के बाद सूखने के लिए छोड़ रखी गेहूं, जौ की फसलें बारिश से गीली हो गई, जिससे उनका लिवाई कार्य रोकना पड़ा। किसानों का कहना है कि बारिश की संभावना को लेकर फसलों की कटाई जल्दबाजी में की गई और सूखने के बाद लिवाई का कार्य किया जाना था। लेकिन, थ्रेसर मशीनें समय पर उपलब्ध नहीं होने से करीब 60 फीसदी खेतों में लिवाई का कार्य किया जाना अब भी शेष है। ऐसे में असमय हो रही बारिश से पैदावार की गुणवत्ता प्रभावित होने की आशंका बढ गई है।
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