यूपीएससी का सफर कई लोगों के लिए छोटा होता है, तो कुछ लोगों को सालों तक यहां संघर्ष करना पड़ता है. ऐसे में जो लोग धैर्य रखकर लगातार मेहनत करते रहते हैं उन्हें सफलता जरूर मिलती है. आज आपको यूपीएससी परीक्षा पास कर अपना सपना पूरा करने वाले बृजेश ज्योति उपाध्याय की कहानी बताएंगे जो बेहद प्रेरणादायक है. उन्हें यूपीएससी में चार बार लगातार असफलता मिली, लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी और पांचवें प्रयास में सफलता प्राप्त कर ली. बृजेश की साल 2018 की यूपीएससी परीक्षा में ऑल इंडिया रैंक 112 आई.
असफलताओं से नहीं घबराए
बृजेश को लगातार चार बार यूपीएससी परीक्षा में असफलता का मुंह देखना पड़ा, लेकिन उन्होंने हिम्मत नहीं हारी और यह ठान लिया कि वह सफलता प्राप्त करके ही मानेंगे. उन्होंने काफी धैर्य रखा और लगातार मेहनत करते रहे. किसी भी व्यक्ति के लिए यूपीएससी में कई बार असफलता मिलना निराशाजनक होता है लेकिन ऐसे में जो लोग धैर्य रख लेते हैं वह सफल जरूर होते हैं. बृजेश की कहानी उन लोगों के लिए एक मोटिवेशन है जो यूपीएससी की तैयारी कर रहे हैं और अभी तक सफल नहीं हुए.
परीक्षा में जो पूछा जाए वही लिखें
बृजेश का मानना है कि यूपीएससी की परीक्षा में आप कितना भी पढ़कर जाएं, लेकिन पेपर देते वक्त सिर्फ वही लिखें जो आपसे पूछा गया है. उनके मुताबिक परीक्षा में सफलता के लिए टाइम मैनेजमेंट करना भी काफी जरूरी होता है. आप सटीक रणनीति बनाकर अगर तैयारी करेंगे तो आपको सफलता जल्दी मिलेगी. बृजेश कहते हैं कि यूपीएससी की तैयारी करने वाले लोग किसी भी अन्य विकल्प के बारे में नहीं सोचते, लेकिन ऐसा करना काफी फायदेमंद रहता है. उनके मुताबिक यूपीएससी की परीक्षा में सफलता की कोई गारंटी नहीं होती ऐसे में आप अगर दूसरा विकल्प तैयार रखेंगे तो आपका भविष्य बेहतर रहेगा. इसका मतलब यह कतई नहीं है कि आप पूरी मेहनत के साथ तैयारी ना करें. अगर आप सही दिशा में ईमानदारी के साथ मेहनत करेंगे तो आपको यूपीएससी में सफलता जरूर मिलेगी. कई बार लोगों को सफलता मिलती है लेकिन उनसे घबराना नहीं चाहिए और हर बार बेहतर तरीके से प्रयास करना चाहिए.