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देवघर त्रिकुट रोपवे हादसा: फंसे 18 लोग बचाए गए, बचाव के लिए पहुंचा एयरफोर्स का हेलीकॉप्टर

jantaserishta.com
11 April 2022 7:59 AM GMT
देवघर त्रिकुट रोपवे हादसा: फंसे 18 लोग बचाए गए, बचाव के लिए पहुंचा एयरफोर्स का हेलीकॉप्टर
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देवघर: झारखंड के देवघर में त्रिकुट रोपवे की 18 ट्रालियों में फंसे 36 लोगों का रेस्क्यू अभियान अभी भी चल रहा है. यह सभी लोग रविवार शाम 5 बजे से 1000 हजार फीट की ऊंचाई पर झूलते हुई ट्रालियों में फंसे हैं. सभी जिंदगियों को बचाने के लिए सेना की मदद ली जा रही है. मौके पर सेना का दो MI-17 हेलिकॉप्टर पहुंचा है, लेकिन रेस्क्यू में मुश्किलें आ रही हैं.अभी तक चार ट्रालियों में से कुल 12 लोगो काे रेस्क्यू कर सुरक्षित निकाला जा चुका है.

इस हादसे पर मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन ने कहा कि युद्ध स्तर पर राहत एवं बचाव कार्य चलाया जा रहा है, एनडीआरएफ और बचाव दल के द्वारा लोगों को सकुशल निकालने का प्रयास किया जा रहा है, इसमें विशेषज्ञों की भी सहायता ली जा रही है, इस हादसे पर सरकार की पूरी नजर है, राहत एवं बचाव कार्यों के लिए सरकार द्वारा लगातार निर्देश दिए जा रहे हैं.
दरअसल, देवघर जिले के मोहनपुर प्रखंड में त्रिकुट पहाड़ पर झारखंड का सबसे ऊंचा रोपवे है. रोपेवे पर्यटकों को मुख्य चोटी के शीर्ष पर ले जाता है. चढ़ाई पर घने जंगल में प्रसिद्ध त्रिकुटाचल महादेव मंदिर और ऋषि दयानंद की आश्रम है. रामनवमी के मौके पर यहां बड़ी संख्या में पर्यटक पहुंचे थे. रविवार देर शाम 5 बजे अचानक रोपवे में खराबी आ गई.


पर्यटकों के मुताबिक, ऊपर से नीचे आ रही एक ट्राली की टक्कर नीचे से ऊपर जा रही ट्राली से हो गई. इसके बाद कई ट्रालियां अपनी जगह से हट गईं और डिस्प्लेस हो गईं. जब यह हादसा हुआ, तब रोपवे की तारों के अलग-अलग हिस्सों पर करीब दो दर्जन ट्रालियां थीं. कुछ ट्रालियों का रेस्क्यू तुरंत कर लिया गया, लेकिन कई काफी ऊंचाई पर फंस गईं.
मौके पर तुरंत एनडीआरएफ की टीम बुलाई गई. एनडीआरएफ की टीम को ऊंचाई की वजह से मुश्किलों का सामना करना पड़ा. फंसे लोगों तक ड्रोन के जरिए खाना और पानी पहुंचाया जाने लगा. इसके बाद सोमवार सुबह रेस्क्यू की कमान खुद सेना ने संभाली और मौके पर आया सेना का दो MI-17 हेलिकॉप्टर .
सेना को भी रेस्क्यू में मुश्किलों का सामना करना पड़ा रहा है. दो पहाड़ों के बीच में फंसी ट्रालियां और नीचे हजार फीट की खाई है. ऐसे में सेना के जवान बहुत सूझबूझ के साथ रेस्क्यू चला रहे हैं. हेलिकॉप्टर से रेस्क्यू में फिलहाल दिक्कत आ रही है, क्योंकि जैसे ही हेलिकॉप्टर ट्राली के पास पहुंचता है तो उसकी हवा से सभी ट्रालियां हिलने लग रही हैं.


फिलहाल सेना ने अभी डबल इंजन के चॉपर को मंगाने की कवायद शुरू कर दी है. इसके साथ ही रेस्क्यू की रणनीति में बदलाव किया गया है. मौके पर पहुंचे जिले के डीएम का कहना है कि 18 ट्रालियों में 48 लोग फंसे थे, सोमवार दोपहर में 12 लोगों का रेस्क्यू कर लिया गया. अभी तक एक महिला की मौत की पुष्टि हुई है. इसके अलावा सभी घायलों को अस्पताल में एडमिट कराया गया है.
जिला प्रशासन ने दावा किया कि हम सभी लोगों के सुरक्षित रेस्क्यू की पूरी कोशिश कर रहे हैं. इसके साथ ही ट्राली में फंसे लोगों का हौसला बढ़ाने की कोशिश की जा रही है. प्रशासन का कहना है कि सेना के जवान लगातार कोशिश कर रहे हैं और हम सभी लोगों को बचा लेंगे, लेकिन कोई भी किसी तरह की अफवाह न फैलाए.
स्वास्थ्य एवं आपदा प्रबंधन मंत्री बन्ना गुप्ता ने कहा कि देवघर रोपवे दुर्घटना पर जांच कराई जाएगी और दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी. यह समय राजनीति का नहीं बल्कि पीड़ितों को सहायता पहुंचाने का है. राज्य सरकार केंद्र सरकार, इंडियन आर्मी और इंडियन एयर फोर्स के मदद से राहत कार्य कर रही है. हमारी प्राथमिकता लोगो की जान बचाने की है. NDRF की टीम भी बचाव कार्य में लगी है. घायलों को बेहतर चिकित्सा व्यवस्था उपलब्ध कराया जाएगा.


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