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कोरोना की दूसरी लहर में आक्सीजन की कमी की उच्चस्तरीय जांच की मांग, कल सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई

Deepa Sahu
3 Oct 2021 4:21 PM GMT
कोरोना की दूसरी लहर में आक्सीजन की कमी की उच्चस्तरीय जांच की मांग, कल सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई
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सुप्रीम कोर्ट

नई दिल्ली, सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दाखिल हुई है, जिसमें कोरोना की दूसरी लहर के दौरान मार्च, अप्रैल और मई में आक्सीजन और जरूरी दवाइयों की कमी की आयोग गठित करके उच्चस्तरीय जांच कराने की मांग की गई है। यह याचिका दिल्ली निवासी सेवानिवृत पुलिस अधिकारी नरेश कुमार ने दाखिल की है, जिसमें दूसरी लहर के दौरान आक्सीजन और जरूरी दवाइयों की कमी से बहुत से लोगों की जान जाने का मुद्दा उठाया गया है। याचिका सोमवार को जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष सुनवाई के लिए लगी है।

सेवानिवृत्त पुलिस अधिकारी नरेश कुमार ने दाखिल की याचिका
वकील राजीव कुमार दुबे के जरिये दाखिल याचिका में नरेश कुमार ने कहा है कि या तो जांच आयोग से मामले की जांच कराई जाए या फिर आक्सीजन की कमी व दवाइयों की कमी की जांच सीबीआइ अथवा किसी निष्पक्ष जांच एजेंसी से कराई जाए। कोरोना की दूसरी लहर में याचिकाकर्ता के बेटे की हालत भी बहुत खराब हो गई थी, लेकिन उसकी जान बच गई। याचिका में कहा गया है कि सुप्रीम कोर्ट के सेवानिवृत न्यायाधीश या हाई कोर्ट के सेवानिवृत मुख्य न्यायाधीश की अध्यक्षता में जांच आयोग गठित हो। जांच में लापरवाही के जिम्मेदार लोगों को चिह्नित किया जाए।
याचिका में केंद्र सरकार, नेशनल डिजास्टर मैनेजमेंट अथारिटी और विभिन्न राज्यों के स्वास्थ्य विभागों को पक्षकार बनाया गया है। कहा गया है कि सुप्रीम कोर्ट ने अपने विभिन्न फैसलों में जीवन के अधिकार की व्याख्या की है जिसमें स्वास्थ्य के अधिकार को जीवन के अधिकार का हिस्सा माना गया है। ऐसे में सरकार की जिम्मेदारी है कि वह लोगों की सेहत का ख्याल रखे। मालूम हो कि सुप्रीम कोर्ट ने मई में आक्सीजन की कमी पर सुनवाई करते हुए 12 सदस्यीय नेशनल टास्क फोर्स गठित की थी जिससे कोर्ट ने आक्सीजन की आपूर्ति का तंत्र स्थापित करने पर सुझाव और रिपोर्ट मांगी थी।
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