नई दिल्ली। आजकल की बढ़ती महंगाई के दौर में अब जीरे की कीमतों में भी उछाल आई है। यह खबर खास रूप से उन लोगों के लिए है जो रसोई में अपनी दिलचस्पी रखते हैं और खाना बनाने का आनंद लेते हैं। हाल ही में टमाटर की कीमतों ने लोगों की तकलीफ बढ़ाई थी और अब जीरे के भाव ने लोगों को परेशान करके रख दिया है। जीरे के रेट प्रति किलो 150 से 175 रुपये तक बढ़ गए हैं।
मसालों की बढ़ती कीमतें और उनका असर
आजकल के महंगाई भरे दौर में सभी चीजों की कीमतें बढ़ रही हैं। चाहे वह टमाटर हो या फिर मसाले, हर चीज की बढ़ोतरी आपकी जेब परअतिरिक्त भार डाल रही है। जीरे के दामों में बढ़ोतरी ने लोगों का बजट बिगाड़ कर रख दिया है। अब जीरे के भाई ड्राईफ्रूट के बराबर हो गए हैं। वर्तमान में जीरे का थोक रेट प्रति क्विंटल 57,500 रुपये है। इसकी खुदरा कीमत लगभग 700 रुपये प्रति किलो है। वहीं बादाम की खुदरा कीमत 650 से 700 रुपये प्रति किलो है।
जीरे की कीमतों में तेजी के पीछे की वजह
एक रिपोर्ट के मुताबिक, पिछले सप्ताह जीरे की कीमतों में अचानक उछाल देखने को मिला है। इस दौरान जीरे का दाम प्रति किलो 150 से 175 रुपये तक बढ़ गया है। पिछले बुधवार को राजस्थान के नागौर मंडी में जीरा का होलसेल रेट 57,500 रुपये प्रति क्विंटल था। यह रेट अब तक का सबसे ऊंचा रेट है। एक कमोडिटी एक्सपर्ट ने बताया है कि गुजरात में बिपरजॉय तूफान के बाद जीरे का आयात कम हो गया है और इसलिए जीरे की कीमतों में इतनी उछाल आई है।
जीरे की मांग में बढ़ोतरी
फेडरेशन ऑफ इंडियन स्पाइस स्टॉक होल्डर (FISS) के डायरेक्टर विजय जोशी ने बताया है कि वर्तमान में जीरे की रोजमर्रा की आवक 4 से 5 हजार बोरी है और मांग इससे दोगुनी है। उन्होंने कहा है कि जुलाई तक टर्की और सीरिया से जीरा मार्केट में आ सकता है। इसके अलावा, नया माल का आने में लगभग 8 महीने का समय लग सकता है। भारत में सालाना लगभग 35 लाख बोरियां जीरे का उपयोग होता है, लेकिन यह संख्या अब कम हो गई है और सिर्फ 15 लाख बोरियां बची हैं। इसलिए स्पष्ट है कि जीरे की कीमत में तेजी आएगी और मांग भी बढ़ेगी।
जीरे की कीमतों में तुलना ड्राईफ्रूट से
इस समय जीरे की कीमतों की तुलना में बादाम की कीमत भी उत्पादों की तरह बढ़ रही है। बादाम की खुदरा कीमत 650 से 700 रुपये प्रति किलो है, जो कीमत जीरे की कीमत के बराबर है। इसलिए हम कह सकते हैं कि आजकल जीरा ड्राईफ्रूट की कीमत के बराबर ही बिक रहा है।