उत्तर प्रदेश के सियासी हलकों में योगी मंत्रिमंडल के विस्तार की चर्चा शुरू हो गई है. इस बीच सीएम योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को राज्यपाल आनंदी बेन पटेल से मुलाकात की. इस मुलाकात के लिए आनंदीबेन पटेल आज अचानक लखनऊ पहुंची हैं. राज्यपाल पिछले दो सप्ताह से एमपी में रहने के बाद उत्तर प्रदेश पहुंची हैं. मुलाकात के दौरान सीएम योगी आदित्यनाथ ने राज्यपाल आनंदीबेन पटेल को पुस्तक भेंट की.
योगी कैबिनेट में बदलाव की चर्चा के बीच इस बैठक को अहम माना जा रहा है. यूपी चुनाव को देखते हुए उम्मीद है कि वह आने वाले समय में अपने मंत्रिमंडल का विस्तार करेगी. कयास ये लगाये जा रहे हैं कि पूर्व आईएएस एके शर्मा को कोई बड़ी ज़िम्मेदारी दी जा सकती है, सूत्रों का कहना है कि एके शर्मा को डिप्टी सीएम बनाया जा सकता है, जबकि मौजूदा डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य को उत्तर प्रदेश भाजपा की कमान सौंपने की चर्चा है. दरअसल, 19 मार्च 2017 को सरकार गठन के बाद 22 अगस्त 2019 को उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने मंत्रिमंडल का दूसरा विस्तार किया था. उस दौरान उनके मंत्रिमंडल में 56 सदस्य थे.
कोरोना के चलते तीन मंत्रियों का निधन हो चुका है. हाल ही में राज्यमंत्री विजय कुमार कश्यप की मौत हुई थी, जबकि पहली लहर में मंत्री चेतन चौहान और मंत्री कमला रानी वरुण का निधन हो गया था. नियम के मुताबिक यूपी में कैबिनेट मंत्रियों की अधिकतम संख्या 60 तक हो सकती है.
अभी योगी मंत्रिमंडल में हैं 54 मंत्री, 6 पद खाली
पहले मंत्रिमंडल विस्तार में 6 स्वतंत्र प्रभार मंत्रियों को कैबिनेट की शपथ दिलाई गई थी. मौजूदा समय में योगी सरकार के मंत्रिमंडल में 23 कैबिनेट मंत्री, 9 स्वतंत्र प्रभार मंत्री और 22 राज्यमंत्री हैं. इस तरह से यूपी सरकार में फिलहाल कुल 54 मंत्री हैं, जिसके लिहाज से 6 मंत्री पद अभी भी खाली है, जिन्हें नियमतः: बढ़ाया जा सकता है.
यूपी में पंचायत चुनाव में मिली हार के बाद से भाजपा की चिंता अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर बढ़ गई है. सूबे के विधानसभा चुनाव में महज आठ महीने का समय बाकी है. उससे पहले सरकार और संगठन में व्यापक सुधार किये जाने हैं. इसीलिये सरकार के विस्तार का चर्चा बार बार सामने आती है.