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90 फीट गहरे बोरवेल में गिरा बच्चा, 18 घंटे बाद किया गया रेस्क्यू, ऐसे हुआ पूरा ऑपरेशन

jantaserishta.com
7 May 2021 8:02 AM GMT
90 फीट गहरे बोरवेल में गिरा बच्चा, 18 घंटे बाद किया गया रेस्क्यू, ऐसे हुआ पूरा ऑपरेशन
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कच्चे बोरवेल को ऊपर से कवर किया हुआ था.

राजस्थान में जालोर जिले के सांचोर उपखण्ड क्षेत्र के लाछड़ी गांव में एक 4 साल का मासूम बच्चा 90 फीट गहरे बोरवेल में गिर गया. मासूम को बचाने के लिए रेस्क्यू ऑपरेशन शुरू किया. घटना की जानकारी मिलने पर आसपास के दर्जनों लोग मौके पर पहुंचे. जिला आपदा प्रबंधन की टीम भी मौके पर बुलाई गई. 18 घंटे बाद बच्चे का रेस्क्यू कर ल‍िया गया.

जानकारी के मुताबिक, घटना लाछड़ी गांव में नगाराम देवासी के खेत की है जहां नया बोरवेल खुदवाया गया था. कच्चे बोरवेल को ऊपर से कवर किया हुआ था. घटना गुरुवार सुबह करीब दस बजे के आसपास की है जहां नगाराम का चार वर्ष का बेटा अनिल खेलते हुए बोरवेल को अंदर से देखने का प्रयास करने लगा. इस दौरान संतुलन बिगड़ा और वह अंदर जा गिरा. वहां खडे़ एक व्यक्ति ने उसे गिरते हुए देख लिया और सहायता के लिए बोरवेल की ओर भागा लेकिन तब तक वह नीचे गिर गया था. सूचना पर थोड़ी देर में मौके पर भारी भीड़ जमा हो गई और प्रशासन व पुलिस को इसकी सूचना दी गई.
प्रशासन और पुल‍िस की टीम ने तुरंत एक ऑक्सीजन सिलेंडर की व्यवस्था की और एक नली के माध्यम से बोरवेल में ऑक्सीजन छोड़ना शुरू कराया. प्रशासन के पास संसाधन नहीं होने की वजह से मासूम को बाहर निकालने में परेशानी हुई जिसके बाद गुजरात के गांधीनगर से एनडीआरएफ की टीम को बुलाया गया.
गांधीनगर एनडीआरएफ की टीम मौके पर पहुंची और टीम की ओर से बच्चे को रेस्क्यू करने के लिए ऑपरेशन शुरू किया था. अजमेर, गांधीनगर, बड़ौदा की एनडीआरएफ टीम की ओर से रेस्क्यू ऑपरेशन किया गया. कई तरह की तकनीक अपनाई गई लेकिन उसके बाद देशी जुगाड़ काम आया.
बोरवेल में 4 साल का मासूम अनिल सुरक्षित और सामान्य स्थिति में था. कई तरह की गतिविधियों को कैमरे मे कैद किया गया. आपको बता दें कि मासूम बच्चे को बोरवेल में गिरे करीब 18 घंटे का समय हो चुका था. रेस्क्यू ऑपरेशन सफल नहीं होने की वजह से सभी परेशान थे.
मासूम अनिल देवासी के रेस्क्यू किए जाने के बाद एम्बुलेंस के माध्यम से सांचौर शहर के एक निजी अस्पताल मे भर्ती करवाया गया जहां उनका इलाज जारी है. मासूम अनिल देवासी के हिम्मत, जज्बे व हौसले की सभी तारीफ कर रहे थे कि सौ फीट गहरे बोरवेल मे 18 घंटे बिताने के बाद भी बच्चे की गतिविधियां जारी थी. जो पानी, दूध भेजा गया, उसे बच्चा पी रहा था. बाद में बिस्कुट और चॉकलेट भी खाई. दर्द के बारे मे पूछा गया तो उसने बताया भी कि मुझे यहां दर्द हो रहा है.
घटना के बाद जालौर जिला कलेक्टर नम्रता वर्षणी, जिला पुलिस अधीक्षक श्यामसिंह ,अतिरिक्त जिला कलेक्टर छगनलाल गोयल मौके पर पहुंचे और स्थानीय अधिकारियों घटना की जानकारी ली. कलेक्टर व एसपी व सभी प्रशासनिक अधिकारी मौके पर मौजूद रहे हैं. बच्चे के रेस्क्यू किए जाने के बाद सभी ने राहत की सांस ली.
एनडीआरएफ टीम के कप्तान अनिल कुमार सिंह ने बताया कि हमे सूचना मिलने के बाद गांधीनगर, बड़ौदा व अजमेर से तीन दल यहां शाम चार बजे तक पहुंच गए और हमने मिशन हमारे कब्जे मे लिया. संयुक्त प्रयास के बाद रात करीब दो बजकर दस मिनट पर सफल हो पाए.
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