भारत
प्रमुख मोहन भागवत ने कहा- 'आजादी के बाद चली सावरकर को बदनाम करने की मुहिम'
Deepa Sahu
12 Oct 2021 5:30 PM GMT
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राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के प्रमुख मोहन भागवत मंगलवार को स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर पर एक पुस्तक के विमोचन कार्यक्रम में शामिल हुए।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के प्रमुख मोहन भागवत मंगलवार को स्वतंत्रता सेनानी वीर सावरकर पर एक पुस्तक के विमोचन कार्यक्रम में शामिल हुए। उन्होंने कहा कि देश में वर्तमान समय में सावरकर के बारे में सही जानकारी की कमी है। सावरकर के बारे में लिखी गईं तीन किताबों से उनको ठीक से जाना जा सकता है।
मोहन भागवत ने कहा कि देश को स्वतंत्रता मिलने के बाद से ही वीर सावरकर को बदनाम करने की मुहिम शुरू हो गई थी। अब इसके बाद बदनाम करने की यह मुहिम स्वामी विवेकानंद, स्वामी दयानंद सरस्वती और योगी अरविंद जैसों के खिलाफ भी चलाई जाएगी, क्योंकि वीर सावरकर इन तीनों के ही विचारों से काफी प्रभावित थे।
संघ प्रमुख ने कहा कि सावरकर का हिंदुत्व, विवेकानंद का हिंदुत्व... ऐसा कहने का फैशन सा हो गया है। हिंदुत्व एक ही है, जो शुरुआत से है और अंत तक वही रहेगा। जो भारत का है वो भारत का ही है और उसकी सुरक्षा और प्रतिष्ठा भारत से ही जुड़ी है। लेकिन, विभाजन के समय पाकिस्तान चले गए मुसलमानों के साथ ऐसा नहीं है।
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