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बड़ी खबर
2022 के उत्तराखंड विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा की अंदरूनी कलह फिर सामने आई है. अनुशासन का दम भरने वाली भारतीय जनता पार्टी के विधायक और कार्यकर्ताओं में एक बार फिर जबरदस्त भिड़ंत मुख्यमंत्री के कार्यक्रम से पहले देखने को मिल गई. विधायक और कार्यकर्ताओं के बीच ऐसी भिड़ंत देखने को मिली कि दोनों तरफ से नारेबाजी होने लगी और खूब बवाल काटा गया.
जब बीजेपी विधायक और कार्यकर्ता लड़े
देहरादून के रायपुर में डिग्री कॉलेज के भवन के लोकार्पण कार्यक्रम में मुख्यमंत्री पुष्कर धामी के पहुंचने से चंद मिनट पहले रायपुर से भाजपा विधायक उमेश शर्मा काऊ अपने ही कार्यकर्ताओं पर भड़ास निकालते हुए दिखे, वहां मौजूद उच्च शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत के सामने काऊ का गुस्सा सातवें आसमान पर पहुंच गया, इतना ही नहीं विधायक कार्यकर्ता को अपनी औकात में रहने को कहने लगे,तो कार्यकर्ता भी विधायक से भिड़ गया,बस फिर क्या था दोनों ओर से नारेबाजी शुरू हो गयी.
किस बात पर रहा विवाद?
विधायक ने कार्यक्रम को छोड़ने तक की धमकी दे दी, साथ ही यहां तक कह डाला कि मंत्री जी अगर यहां ऐसे कार्यकर्ताओं के साथ खड़े रहे तो वह कार्यक्रम छोड़कर चले जाएंगे और कार्यक्रम होने भी नहीं देंगे . भाजपा विधायक अपने ही पार्टी के कार्यकर्ताओं को औकात में रहने की धमकी देते रहे.
भाजपा विधायक जिस कार्यकर्ता से उलझे वह जिला पंचायत के सदस्य हैं और पार्टी में 15 से 20 सालों से काम कर रहे हैं. जिला पंचायत सदस्य वीर सिंह का कहना है कि विधायक जिस तरीके से अपशब्दों का प्रयोग कर रहे हैं उससे कार्यकर्ताओं का मनोबल भी गिर रहा है ,एक विधायक को यह शोभा नहीं देता कि वह अपने ही पार्टी के कार्यकर्ताओं को इस तरीके से धमकाए.
चुनाव की तैयारी, अंदरूनी कलह से नुकसान?
खास बात यह है कि उच्च शिक्षा विभाग के कार्यक्रम को उमेश शर्मा काऊ अपना निजी कार्यक्रम तक बताने लगे और कार्यकर्ताओं को कार्यक्रम से निकालने तक की धमकी देने लगे. धन सिंह रावत से उमेश काऊ शिकायत करते हुए नजर आए कि यह मुझे अपना विधायक नहीं मानते हैं और इस क्षेत्र में जो भी पोस्टर लगते हैं उनको यह फाड़ देते हैं.
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