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भाजपा प्रदेश कार्यसमिति की बैठक में शामिल हुए मुख्यमंत्री पुष्कर धामी

Shantanu Roy
20 May 2023 1:29 PM GMT
भाजपा प्रदेश कार्यसमिति की बैठक में शामिल हुए मुख्यमंत्री पुष्कर धामी
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बड़ी खबर
नई दिल्ली। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शनिवार को हाथीबड़कला, देहरादून स्थित सर्वे ऑडिटोरियम में भाजपा प्रदेश कार्यसमिति की बैठक में प्रतिभाग किया। देहरादून में भाजपा की प्रदेश कार्यसमिति की बैठक चल रही है। प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी, सभी सांसद और प्रदेश पदाधिकारी हिस्सा ले रहे हैं।
बैठक में आगामी लोकसभा और स्थानीय निकाय चुनावों को लेकर रणनीति बनाई गई है। भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय महामंत्री तरुण चुग जी पहुंचे देहरादून देहरादून पहुंचने पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट सहायक प्रभारी रेखा वर्मा सहित सभी भाजपा नेताओं कार्यकर्ताओं ने किया अभिनंदन व स्वागत किया।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शनिवार को सर्वे ऑडिटोरियम हाथीबडकला में प्रदेश भाजपा कार्य समिति की बैठक में प्रतिभाग किया। उन्होंने कहा कि निस्वार्थ सेवा ही हमारे संगठन का संकल्प रहा है और ये हमारी कार्यशैली व संस्कारों से प्रतिबिंबित भी होता है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के दिशा निर्देशन में एक ओर जहां भारत राष्ट्रीय स्तर पर विकास की नई-नई ऊंचाईयों को छू रहा है, वहीं वैश्विक स्तर पर एक सशक्त, सामर्थ्यवान और आत्मनिर्भर देश के रूप में नई पहचान प्राप्त कर रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि यह स्वर्णिम कालखंड भारत की सांस्कृतिक व आध्यात्मिक चेतना के पुनरोत्थान का कालखंड है और आज का नया भारत पुनः विश्वगुरु के स्थान पर आरूढ़ होने के लिए पूर्ण रूप से तैयार है। प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में आज सनातन का जयघोष चारों दिशाओं में सुनाई दे रहा है। पूरे विश्व में सनातन सभ्यता का परचम लहरा रहा है और उसके ध्वजवाहकों व तीर्थों का सम्मान किया जा रहा है। आज हमारे पौराणिक मंदिरों और तीर्थ स्थानों का इतिहास और महत्व उसी गौरव के साथ प्रदर्शित किया जा रहा है जिसके साथ इसे किया जाना चाहिए था। हमारे मंदिरों और देव स्थानों की उपेक्षा की गई, सनातन पद्धतियों का उपहास उड़ाया गया। आज प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में अभूतपूर्व गति से भारत का सांस्कृतिक पुनरुत्थान हो रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आज भारत की अस्मिता के प्रतीकों, हमारे ऋषियों और धर्म गुरुओं, हमारी सांस्कृतिक धार्मिक-धरोहरों को जिस प्रकार से संरक्षित व संवर्धित किया जा रहा है इसकी व्याख्या शब्दों में संभव नहीं है। यह कालखंड भारत की सांस्कृतिक-आध्यात्मिक चेतना के उन्नयन की दृष्टि से स्वर्णिम कालखंड है। कोरोना महामारी के दौरान सम्पूर्ण विश्व ने इस उभरते हुए नए भारत की शक्ति को नजदीक से देखा और जाना। जब विदेशों को भारत द्वारा बनाई गई वैक्सीन प्रदान कर रहे थे, तो उन्हें दिए जाने वाली वैक्सीन के हर डिब्बे में लिखा रहता था ’’सर्वे संतु निरामयाः’’ अर्थात सभी निरोगी होएं। यही तो हमारी राष्ट्रनीति है, जहां ’’स्वः’’ के साथ-साथ ’’सर्व’’ के कल्याण की भी कामना की जाती है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने देश के गौरवमय मार्ग को प्रशस्त करने के लिए जिस ’’सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास, सबका प्रयास और सबका प्रयास’’ का मंत्र दिया है उसने देश की राजनीति की दिशा और दशा को बदलने का कार्य किया है। प्रधानमंत्री जी द्वारा प्रारंभ की गई गरीब कल्याण योजनाओं ने अंतिम पायदान पर खड़े हुए प्रत्येक व्यक्ति के चेहरे पर मुस्कान लाने का काम किया है।
उन्होंने कहा कि देश में नोटबंदी लागू कर काले धन पर चोट करना हो, कश्मीर से धारा-370 हटाने जैसा ऐतिहासिक कार्य हो, देश में जीएसटी जैसा कानून लागू करना हो, पाकिस्तान पर सर्जिकल स्ट्राइक कर उसके दांत खट्टे करना हो या कोरोना काल का दुर्भाग्यशाली लॉकडाउन हो, देश की जनता हमेशा प्रधानमंत्री जी के साथ खड़ी रही। देश में दशकों से गरीबी हटाओं के नारे तो खूब दिए गए लेकिन गरीबी हटाने का काम प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने किया। आज जब हम पद्म सम्मानों की सूची देखते हैं तो उसमें कोई बड़े-बड़े सैलिब्रिटी नहीं बल्कि दूर दराज के क्षेत्रों में समाज के लिए काम करने वाले आम नागरिक होते हैं। चाहे देश की आजादी के अमृत महोत्सव पर हर घर तिरंगा यात्रा हो या दशमेश गुरू गोविंद सिंह साहब के चारों पुत्रों के बलिदान को ’’वीर बाल दिवस’’ के रूप में मनाने का कार्य हो, प्रधानमंत्री जी की महान सोच प्रत्येक कार्य में दृष्टिगोचर होती है। आज प्रधानमंत्री जी के कुशल मार्गदर्शन में देश जहां विश्व की पांचवी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गया है, वहीं वैश्विक कूटनीति के मंच पर भी विश्व में भारत अग्रणी देशों में गिना जाता है, रूस और यूक्रेन युद्ध के समय हमारे द्वारा उठाए गए कदमों से यह बात परिलक्षित होती है। ’’अंत्योदय के साथ-साथ ’’सांस्कृतिक राष्ट्रवाद’’ का मंत्र आज देश की मूल प्रेरणा बन चुका है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि एक ही वर्ष में तीन बड़े अंतर्राष्ट्रीय संगठनों जी-20, संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद, शंघाई सहयोग संगठनों की अध्यक्षता मिलना बताता है कि भारत ने दुनिया को अपनी ताकत का लोहा मनवा लिया है। यह हमारे लिए सौभाग्य का विषय है कि इस वर्ष जी-20 से संबंधित कुछ बैठकें हमारे प्रदेश में भी निर्धारित हैं, जिसमें से जी-20 की बैठक रामनगर में सकुशल संपन्न भी हो चुकी है। इस माह भी ऋषिकेश और नरेंद्रनगर में जी-20 की बैठकें होनी है, जिसके लिए युद्धस्तर पर कार्य चल रहे हैं।यह प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व का ही कमाल है कि उत्तराखंड को भी जी-20 की मेजबानी करने का अवसर मिला। उन्होंने कहा कि आज केन्द्र और राज्य सरकार के सहयोग से अंत्योदय की भावना को आत्मसात करते हुए ही हमारा प्रदेश भी सर्वश्रेष्ठ राज्य बनने की दौड़ में तेज गति से आगे बढ़ रहा है। हमने उत्तराखंड को देश का अग्रणी राज्य बनाने का जो ’’विकल्प रहित संकल्प’’ लिया है, उसके लिए हम निरंतर कार्यरत हैं।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि भ्रष्टाचार और भर्ती घोटालों पर किए गए प्रहार से लेकर समान नागरिक आचार संहिता, धर्मांतरण कानून, महिला आरक्षण, भू-कानून, देश के सबसे सख्त नकल विरोधी कानून बनाने और गरीबों को तीन निःशुल्क सिलेंडर देने और देवभूमि में बरसो से पनप रहे अतिक्रमण पर कड़ी कार्रवाई जैसे कठिन मुद्दों पर हमारे द्वारा उठाए गए ’’ऐतिहासिक कदम’’ इस बात का प्रमाण हैं कि आज हमारी सरकार प्रदेश हित में ऐसे मुद्दों पर भी निर्णय लेने का कार्य कर रही है, जिन मुद्दों को वर्षों तक ठंडे बस्ते में डाल दिया गया था। यह डबल इंजन सरकार का ही प्रभाव है कि केन्द्र ने उत्तराखंड को मिलने वाले वार्षिक अनुदान को बढ़ाकर लगभग ग्यारह हजार करोड़ रूपये कर दिया। इस समय हमारे प्रदेश में केंद्र सरकार के सहयोग से लगभग सवा लाख करोड़ रुपये से अधिक की विकास योजनाएं सफलता पूर्वक संचालित की जा रही हैं। पहले केवल योजनाएं बनाई जाती थी, परन्तु अब योजनाएं बनाई जाती हैं और उनको लागू भी किया जाता है। डबल इंजन की सरकार आने के बाद विकास का यही इंजन आज मैदान से लेकर पहाड़ तक सरपट दौड़ रहा है। हमने पहाड़ में रेल का सपना देखा था, वह सपना प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में जल्द ही पूरा होने जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि 2014 से पूर्व देवभूमि में स्वास्थ्य सेवाएं स्वयं बीमार थी, लेकिन प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में आज स्वास्थ्य सेवाओं का जिस तरह विस्तार हुआ है, वह विपक्ष के राज में संभव नहीं था। 2014 से पूर्व की सड़कों की खस्ता हालत किसी से छिपी नहीं हैं, लेकिन प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में आज देश में प्रतिदिन 38 किलोमीटर सड़क का निर्माण हो रहा है। 2014 से पूर्व बच्चों को वैक्सीन लगवाने के लिए दर-दर भटकना पड़ता था, लेकिन मोदी जी के नेतृत्व में मिशन इन्द्रधनुष योजना के तहत बच्चों को जानलेवा बीमारियों से बचाने के लिए वैक्सीन लगाई जा रही है। आज प्रधानमंत्री मोदी जी के नेतृत्व में भारत विश्व का एक अग्रणी राष्ट्र बन चुका है। 2014 के बाद देश में हर साल एक नए आईआईटी का निर्माण हुआ, एक नया आईआईएम बनाया गया। 2014 के बाद हर सप्ताह देश में एक यूनिवर्सिटी खोली गई। 2014 के बाद आज हर दिन देश में दो कॉलेज खोले गए हैं। हर दिन नई आईटीआई का निर्माण किया जा रहा है। यह सब बीते नौ वर्षों में प्रधानमंत्री जी के नेतृत्व में ही संभव हो पाया है।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में उत्तराखंड की पाँचों लोकसभा सीटों पर हमारे सांसद हैं, 2024 के चुनावों में हमारा संकल्प इन पाँचों सीटों पर विजय प्राप्त करना ही नहीं है बल्कि पिछले सारे रिकार्ड तोड़ते हुए एक नए इतिहास की रचना करना भी है। हमें 2024 के इस पुण्य अभियान में ठीक उसी तरह जुटना है जिस प्रकार भगवान श्रीराम के संकल्प की पूर्ति के लिए नल, नील, सुग्रीव, जामवंत, हनुमान व लक्ष्मण ही नहीं बल्कि एक छोटी सी गिलहरी भी पूर्ण समर्पण के साथ कार्य में जुटी हुई थी। 22 वर्ष का युवा उत्तराखंड अब एक नए जोश और एक नई उमंग के साथ निरंतर आगे बढ़ रहा है।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि हमें बाबा केदार की धरती से प्रधानमंत्री जी द्वारा कहे गए कथन ’’21वीं सदी का तीसरा दशक, उत्तराखंड का दशक होगा’’ को चरितार्थ करने के लिए निरंतर प्रयासरत रहने का संकल्प लेना है।एक नई कार्य संस्कृति और सरलीकरण, समाधान, निस्तारण एवं संतुष्टि के मंत्र को लेकर हमारी सरकार प्रदेश में पूर्ण सुशासन स्थापित करने के लिए प्रतिबद्ध है। हम सभी को पार्टी द्वारा निर्धारित सात सूत्रों का पालन करना आवश्यक है, वे सूत्र हैं सेवा भाव, संतुलन, संयम, समन्वय, सकारात्मकता, संवेदना और संवाद। ये सात सूत्र जब हम सभी के जीवन से जुड़ेंगे, तभी हम समाज को, संगठन को और देश को आगे ले जाने का कार्य करने में सफल हो सकेंगे। हमने हमेशा संघर्ष किया है और ये संघर्ष तब तक जारी रहेगा जब तक प्रदेश के अंतिम छोर पर खड़े हुए गरीब व्यक्ति तक विकास की धारा न पहुंच जाए। जब तक भारतवर्ष पुनः सोने की चिड़िया न बन जाये, जब तक भारतवर्ष पुनः विश्वगुरु न बन जाये, तब तक हमें संघर्ष करते रहना पड़ेगा इस संघर्ष से घबराना नहीं है, संघर्ष को अपनाना है और संघर्ष करते हुए आगे बढ़ते जाना है।
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