भारत

दिल्ली पुलिस सिपाही भर्ती की लिखित-परीक्षा दिए अभ्यर्थी, फिजिकल टेस्ट में हुए भंडाभोड़, 21 के खिलाफ मुकदमा दर्ज

Kunti Dhruw
14 July 2021 5:43 PM GMT
दिल्ली पुलिस सिपाही भर्ती की लिखित-परीक्षा दिए अभ्यर्थी, फिजिकल टेस्ट में हुए भंडाभोड़, 21 के खिलाफ मुकदमा दर्ज
x
दिसंबर 2020 में दिल्ली पुलिस में सिपाही (एक्जीक्यूटिव) की भर्ती के लिए आयोजित कराई ,

दिसंबर 2020 में दिल्ली पुलिस में सिपाही (एक्जीक्यूटिव) की भर्ती के लिए आयोजित कराई गई लिखित परीक्षा में, धांधली के एक के बाद एक कई मामले पकड़े जा रहे हैं. यह परीक्षा स्टाफ सलेक्शन कमीशन (SSC) द्वारा देश भर में आयोजित कराई गई थी. लिखित परीक्षा के बाद जब नौबत शारीरिक (फिजिकल टेस्ट) परीक्षा की आई, तो अब यह पकड़-धकड़ शुरू हुई है.

अब तक सामने आ रहे जालसाजी के इन मामलों में पता चल रहा है कि, लिखित परीक्षा में जो अभ्यर्थी शामिल हुए थे, फिजिकल टेस्ट में वे चेहरे बदले हुए हैं. अब इस जालसाजी का भांडाफोड़ होने के बाद 21 लोगों के खिलाफ 14 मुकदमे दिल्ली के अलग-अलग थानों में दर्ज किए गये हैं. फिलहाल अभी तक 12 लोगों की गिरफ्तारी की पुष्टि खुद दिल्ली पुलिस रिक्रूटमेंट सेल प्रभारी डीसीपी श्वेता चौहान ने की है.
जानकारी के मुताबिक एसएससी द्वारा लिखित परीक्षा आयोजित कराने के लिए देश भर में 306 सेंटर बनाए गए थे. यह परीक्षा केंद्र देश के 132 शहरों में बने थे. इन लिखित परीक्षा केंद्रों पर 15 लाख 44 हजार अभ्यर्थी शामिल हुए थे. हालांकि दिल्ली पुलिस में डायरेक्ट एक्जीक्यूटिव सिपाही के रिक्त पद (वैकेंसी) 5846 ही हैं. लिखित परीक्षा में शामिल होने वाले इन करीब साढ़े पंद्रह लाख अभ्यर्थियों में से 67 हजार 740 ने लिखित परीक्षा उत्तीर्ण कर ली थी. लिखित परीक्षा में सफल अभ्यर्थियों का फिजिकल टेस्ट (Physical Endurance and Measurement Test यानि PE&MT) कराने की जिम्मेदारी दिल्ली पुलिस की थी. दिल्ली पुलिस रिक्रूटमेंट सेल प्रभारी/पुलिस उपायुक्त आईपीएस श्वेता चौहान के मुताबिक, "यह फिजीकल परीक्षा दिल्ली पुलिस ने 28 जून 2021 से शुरू कराई थी. शारीरिक परीक्षा के लिए दिल्ली में 3 अलग अलग स्थानों पर 7 बड़े मैदानों में (ग्राउंड्स) इंतजाम किया गया था."
पहली बार 'RFID' फार्मूला इस्तेमाल
डीसीपी दिल्ली पुलिस भर्ती-सेल ने कहा, "फिजिकल परीक्षा पूर्ण रूप से पारदर्शी रखने के उद्देश्य से प्रत्येक परीक्षा केंद्र पर, रेडियो फ्रीक्वेंसी आइडेंटिफिकेशन (Radio Frequency Identification यानी RFID) चिप्स का इस्तेमाल भी किया गया. ताकि किसी भी अभ्यर्थी को 'दौड़' की परीक्षा के दौरान अगर अपने परिणाम पर कोई आपत्ति हो, तो मौके पर ही उसका निपटारा मय सबूत निर्विवाद रूप से किया जा सके. देश के हर अर्धसैनिक बल की भर्ती के दौरान 'RFID' फार्मूला, आजकल परीक्षा में पारदर्शिता बनाए रखने के लिए इस्तेमाल किया जाने लगा है. हालांकि दिल्ली पुलिस में RFID तकनीक का इस्तेमाल पहली बार किया जा रहा है."
यूं पकड़े गए मास्टरमाइंड मुन्नाभाई
पुलिस उपायुक्त के मुताबिक. "इस फिजिकल टेस्ट के दौरान ही दिल्ली पुलिस टीमों को कुछ अभ्यर्थियों पर शक हुआ. लिहाजा दिसंबर 2020 में आयोजित लिखित परीक्षा में मौजूद उनके फोटो इत्यादि का रिकार्ड मिलाया गया तो, पुलिस का संदेह सही साबित हो गया. पता चला कि फिजीकल परीक्षा में कई ऐसे भी कैंडिडेट शामिल होने आये हैं, जिनकी जगह पर देश भर में संघ लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित कराई गई लिखित परीक्षा में, कोई और ही चेहरे वाला परीक्षार्थी शामिल हुआ था.
डीसीपी दिल्ली पुलिस रिक्रूटमेंट सेल के मुताबिक,"फिलहाल दिल्ली के सोनिया विहार और बाबा हरिदास नगर थानों में अब तक कुल मिलाकर 21 जालसाजों के खिलाफ 14 मुकदमे दर्ज किए गये हैं. इन मुकदमों में 12 फर्जी अभ्यर्थियों को गिरफ्तार कर लिया गया है."
दिल्ली पुलिस डीसीपी रिक्रूटमेंट सेल आईपीएस श्वेता चौहान कहती हैं, "अभी कई स्थानों पर छापे मारे जा रहे हैं. गिरफ्तार मास्टरमाइंडों से भी कई महत्वपूर्ण सुराग हाथ लगे हैं. लिखित परीक्षा किसी और के द्वारा दिए जाने व फिजिकल टेस्ट में किसी और कैंडिडेट के शामिल होने के, इन मामलों में किसी बड़े 'सॉल्वर' गैंग की मिली-भगत होने के अंदेशे से इनकार करना जल्दबाजी हो सकती है. पता चला है कि अब तक गिरफ्तार किए गए जालसाजों में से, बहुतायत यूपी, हरियाणा और राजस्थान से संबंध रखने वालों की हैं."
Next Story