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सीमा विवाद: चीनी रक्षा मंत्रालय ने किया बड़ा दावा, जानें पूरी डिटेल्स

jantaserishta.com
29 July 2022 5:05 AM GMT
सीमा विवाद: चीनी रक्षा मंत्रालय ने किया बड़ा दावा, जानें पूरी डिटेल्स
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न्यूज़ क्रेडिट: आजतक

नई दिल्ली: पूर्वी लद्दाख में भारत के साथ चल रहे विवाद के बीच चीन की सेना ने गुरुवार को बड़ा दावा किया. चीन की सेना ने कहा कि भारत के साथ हाल में हुई कोर कमांडर स्तर की बैठक में चार बिंदुओं पर सहमति बनी हैं. इनमें द्विपक्षीय संबंधों की बहाली की गति को बनाए रखने, मतभेदों का प्रबंधन, सीमा पर स्थिरता को बनाए रखने जैसे बिंदू शामिल हैं.

भारत और चीन के बीच 17 जुलाई को 16वें दौर की बातचीत हुई थी. हालांकि, इस बातचीत का कोई हल नहीं निकला था. लेकिन दोनों देशों ने विवाद को सुलझाने के लिए बातचीत जारी रखने पर सहमति जताई थी. भारत और चीन की ओर से बातचीत के बाद संयुक्त बयान भी जारी किया गया था. इसमें कहा गया था कि मुद्दों के समाधान से क्षेत्र में शांति बहाल करने में मदद मिलेगी और द्विपक्षीय संबंधों में भी प्रगति होगी.
16वें दौर की बैठक के दौरान भारत ने सख्त लहजे में चीन से पूर्वी लद्दाख में सभी विवादित जगहों से जल्द जल्द सैनिकों (डिसइंगेजमेंट) को हटाने पर जोर दिया था. ये बैठक करीब साढ़े 12 घंटे तक चली थी. इसके साथ ही भारत ने देपसांग और डेमचोक में भी विवादित मुद्दों को जल्द से जल्द निपटाने की मांग की थी. भारत लगातार मुद्दों को शांति और बातचीत के जरिए हल करने पर जोर दे रहा है.
अब इस बैठक को लेकर चीन के रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता कर्नल वु कियान ने कहा, 16वें दौर की बातचीत में दोनों पक्षों में सरकारात्मक और आगे बढ़ने के लिए मुद्दों पर चर्चा की और चार बिंदुओं पर सहमति बनी.
पहला- राजनीतिक निर्देशन का पालन करना और दोनों देशों के नेताओं के बीच बनी अहम सहमति को गंभीरतापूर्वक लागू करना शामिल है.
दूसरा- पूरी स्थिति पर ध्यान केंद्रित करना और द्विपक्षीय संबंधों की गति बनाए रखना
तीसरा- प्रभावी तरीके से मतभेदों का प्रबंधन और नियंत्रण करना. समस्या का समाधान होने तक सीमावर्ती इलाके में सुरक्षा और स्थिरता को कायम रखना है.
चौथा- दोनों पक्षों के बीच संवाद बनाए रखने पर सहमति बनी है, ताकि जल्द दोनों पक्ष को स्वीकार्य समाधान तक पहुंचा जा सके.
भारत और चीन के बीच पूर्वी लद्दाख में विवाद की शुरुआत अप्रैल-मई 2020 में हुई थी. इसके बाद गलवान में 15 जून को भारत और चीन के सैनिकों के बीच हिंसक झड़प हुई थी. इसमें भारत के 20 जवान शहीद हो गए थे. चीन को भी इस झड़प में भारी नुकसान पहुंचा था. हालांकि, काफी दिन बाद चीन ने चार सैनिकों के मारे जाने की बात स्वीकार की है.
इस हिंसक झड़प के बाद से पूर्वी लद्दाख में सीमा पर दोनों देशों ने जवानों की तैनाती में इजाफा किया. दोनों ओर से करीब 50-50 हजार सैनिक तैनात किए गए हैं. इसके अलावा भारी संख्या में हथियारों की भी तैनाती की गई. हालांकि, कई दौर की बातचीत के बाद पिछले साल दोनों देशों ने पैंगोंग और गोगरा से अपनी सेनाओं को वापस ले लिया था.


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