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तपोवन बराज के पास जिस जगह सबसे ज्यादा मजदूरों के दबे होने की आशंका थी, वहां पर रेस्क्यू ऑपरेशन के दौरान एक ब्लास्ट किया गया दरअसल एक बड़ा पत्थर वहां आ गया था. पत्थर को हटाना मुश्किल हो रही थी, इस लिए बराज की साइट पर ब्लास्ट किया गया. साथ ही इस पत्थर से इलाके में नदी के प्रवाह भी रुक रहा था. नदी का प्रवाह ठीक करने के लिए इस पत्थर को हटाना जरूरी था.
#WATCH Chamoli, Uttarakhand: Rock blasting carried out to properly facilitate the flow of river in the area. Visuals from earlier today. pic.twitter.com/BCAXo2WCUJ
— ANI (@ANI) February 23, 2021
बचाव कर्मी सुरंग के अंदर और रैणी गांव में ऋषिगंगा प्रोजेक्ट के पास लगातार सर्च ऑपरेशन चला रहे हैं. त्रासदी के बाद सेना और आईटीबीपी के जवान भी कई दिनों में बचाव कार्य में जुटे रहे. एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें अब भी बचाव कार्य कर रही हैं. एनडीआरएफ का कहना है कि आपदा के बाद से तपोवन सुरंग और बैराज साइट से मलबा हटाने का कार्य जारी है. हालांकि बार-बार सुरंग में हो रहा पानी का रिसाव बचाव कार्य में बाधा पैदा कर रहा है. वहीं एनडीआरएफ का कहना है कि सुरंग में 171 मीटर तक खोदाई हो चुकी है.