बिहार

Bihar : सरकारी स्कूल के बच्चे ढो रहे लकड़ी, एमडीएम बनाने के लिए लाए गए थे जलावन

4 Jan 2024 12:00 AM GMT
Bihar  :  सरकारी स्कूल के बच्चे ढो रहे लकड़ी, एमडीएम बनाने के लिए लाए गए थे जलावन
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bihar : एक तरफ जहां शिक्षा महकमें के अपर सचिव केके पाठक ने बिहार के सरकारी स्कूलों की व्यवस्थाओं को सुधारने का अभियान छेड़ रखा है। वही दूसरी तरफ आए दिन व्यवस्थाओं को तार-तार करने के एक से बढ़कर एक मामले सामने आ रहे है। ताजा मामला बिहार के औरंगाबाद का है। मामला औरंगाबाद के …

bihar : एक तरफ जहां शिक्षा महकमें के अपर सचिव केके पाठक ने बिहार के सरकारी स्कूलों की व्यवस्थाओं को सुधारने का अभियान छेड़ रखा है। वही दूसरी तरफ आए दिन व्यवस्थाओं को तार-तार करने के एक से बढ़कर एक मामले सामने आ रहे है। ताजा मामला बिहार के औरंगाबाद का है। मामला औरंगाबाद के नबीनगर प्रखंड में कंकेर पंचायत के राजकीय मध्य विद्यालय बारा-तेतरिया का है। इस तरह के प्रावधानों के बावजूद एक ऐसी तस्वीर सामने आई है, जो झकझोर देने वाली और सबको हैरान करने वाली है।

शिक्षा महकमें द्वारा अबतक कोई कार्रवाई नहीं की गई
सरकारी स्कूल में बच्चें ढ़ो रहे एमडीएम के लिए लकड़ी, वीडियो वायरल-तस्वीरों में साफ दिख रहा है कि स्कूल में बच्चें लकड़ी की ढुलाई कर रहे हैं। शायद यह लकड़ी स्कूल में मध्याह्न भोजन बनाने के लिए लाई गई हो, जिसे स्कूल के शिक्षकों द्वारा बच्चों से ढुलवाया जा रहा है। बच्चों के इसी कार्य का एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है। हालांकि यह वीडियो कब का, कहां का और किस स्कूल का है, हम इसकी पुष्टि नहीं करते है लेकिन निःसंदेह किसी स्कूल में बच्चों से इस तरह का काम कराया जाना बेहद शर्मनाक और निंदनीय है। कहा जा रहा है कि यह वायरल वीडियो नबीनगर प्रखंड में कंकेर पंचायत के राजकीय मध्य विद्यालय बारा-तेतरिया का है। वायरल वीडियो में नन्हे बच्चें स्कूल में एक-एक कर लकड़ियां ढोने में लगे हैं। हालांकि वायरल वीडियो को लेकर शिक्षा महकमें द्वारा अबतक कोई कार्रवाई नहीं की गई है।

डीईओ ने कहा- जांच कर होगी कार्रवाई
इस बारे में पूछे जाने पर जिला शिक्षा पदाधिकारी संग्राम सिंह ने कहा कि यह मामला उनके संज्ञान में आया है। मामले की जांच कराई जा रही है। पता लगाया जा रहा है कि यह वीडियो किस स्कूल का है। जांच में पता चलने के बाद संबंधित स्कूल के प्रधानाध्यापक और शिक्षकों पर कार्रवाई की जाएगी। बता दें कि सरकारी स्कूलों में बच्चों से किसी तरह का कोई काम नहीं करवाना है। न तो उनसे विद्यालय परिसर में साफ-सफाई करानी है। न ही झाड़ू लगवाना है। इतना तक कि ब्लैक बोर्ड भी डस्टर से खुद टीचर्स को ही साफ करनी है

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