भारत

पहली बार: अब तक का सबसे बड़ा तटीय सफाई अभियान, जानें पूरी जानकारी

jantaserishta.com
19 March 2023 3:32 AM GMT
पहली बार: अब तक का सबसे बड़ा तटीय सफाई अभियान, जानें पूरी जानकारी
x
नई दिल्ली (आईएएनएस)| केंद्र सरकार का कहना है कि पहले की सरकारों ने भारत के विशाल महासागर संसाधनों की खोज करने की कभी परवाह नहीं की। प्रधानमंत्री मोदी के कार्यभार संभालने के बाद यह पहली बार है, जब समुद्री संसाधनों की खोज करने और उनका दोहन करने तथा भारत की नीली अर्थव्यवस्था को प्राथमिकता देने का गंभीर प्रयास किया जा रहा है। प्रधानमंत्री कार्यालय में राज्य मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने शनिवार को यह बातें कही। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने एक बार नहीं बल्कि राष्ट्र के नाम अपने स्वतंत्रता दिवस के दो संबोधनों में गहरे महासागर मिशन का उल्लेख किया था और इसके महत्व को रेखांकित किया था। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि यह उल्लेख करना युक्तिसंगत है कि पिछले वर्ष ही भारत सरकार ने पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के माध्यम से दुनिया में अब तक का सबसे बड़ा तटीय सफाई अभियान चलाया था। 75 दिनों तक चलने वाले इस अभियान का समापन 17 सितंबर 2022 को हुआ जब पूरे तट और विशेष रूप से अभियान के लिए निर्धारित 75 समुद्र तटों को साफ किया गया।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने महासागरीय जलजीवशाला बनाने की आवश्यकता का भी उल्लेख किया, जिसके लिए पर्यटन मंत्रालय को संज्ञान में लिया जा सकता है।
डॉ. जितेंद्र सिंह, केंद्रीय मंत्री श्रीपद येसो नाइक और गोवा राज्य के पर्यटन मंत्री रोहन खौंटे के नेतृत्व में गोवा के एक उच्च स्तरीय आधिकारिक प्रतिनिधिमंडल से बात कर रहे थे। प्रतिनिधिमंडल ने गोवा राज्य में पर्यटन और महासागर से संबंधित अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए विभिन्न संभावित परियोजनाओं पर चर्चा करने के लिए उनसे मुलाकात की।
गोवा के पर्यटन मंत्री रोहन खौंटे और उनकी टीम ने डॉ. जितेंद्र सिंह के समक्ष पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के तहत विभिन्न योजनाओं के लिए कुछ प्रस्ताव प्रस्तुत किए। राज्य के पर्यटन मंत्री को आश्वासन देते हुए डॉ. जितेन्द्र सिंह ने कहा कि वह प्रस्तावों की जांच करवाएंगे।
डॉ. जितेंद्र सिंह ने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में, पहली बार भारत सरकार ने भारत के महासागरीय संसाधनों का अन्वेषण आरंभ किया है, जिसमें नीली अर्थव्यवस्था के तहत एक विशाल क्षमता है और यह अगले 25 वर्षों में भारतीय अर्थव्यवस्था को असीम मूल्यवर्धन प्रदान करेगी। उन्होंने कहा कि अतीत में इन महासागरीय संसाधनों की कभी खोज नहीं की गई थी।
डॉ. सिंह ने कहा कि नीली अर्थव्यवस्था का उद्देश्य हिंद महासागर क्षेत्र के सामुद्रिक आर्थिक कार्यकलापों के भीतर स्मार्ट, टिकाऊ और समावेशी विकास के अवसरों को बढ़ावा देना तथा महासागरीय संसाधनों, अनुसंधान और विकास के सतत दोहन के लिए उपयुक्त कार्यक्रम आरंभ करना रहा है।
राज्य के पर्यटन मंत्री ने पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय द्वारा राज्य सरकार की प्राथमिकताओं को समायोजित करने के तरीके की सराहना की।
Next Story