मध्य प्रदेश मंत्रालय की हाईटेक एनेक्सी की लिफ्ट में CM शिवराज के फंसने की गाज दो अफसरों पर गिरी है. मेंटेनेंस में लापरवाही के कारण राजधानी परियोजना के दो इंजीनियर्स को निलंबित कर दिया गया है. सीएम शिवराज सोमवार को लिफ्ट में फंस गये थे. दरअसल हुआ यह कि बीते सोमवार को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान मंत्रालय से वापस लौट रहे थे. मुख्यमंत्री मंत्रालय में अपने कक्ष तक आने जाने के लिए जिस लिफ्ट का इस्तेमाल करते हैं वह अचानक बंद हो गई. यह खबर अधिकारियों को लगते ही उनके हाथ पैर फूल गए. मामले को गंभीरता से लेते हुए अधिकारियों ने राजधानी परियोजना प्रशासन के दो इंजीनियरों को सस्पेंड कर दिया.जिन अधिकारियों पर सस्पेंशन की गाज गिरी है उनमें राजधानी परियोजना प्रशासन के प्रभारी अनुविभागीय अधिकारी विद्युत यांत्रिकी शैलेंद्र परमार और उपयंत्री विद्युत यांत्रिकी मनोज यादव शामिल हैं.
राजधानी भोपाल में वल्लभ भवन एनेक्सी टू का निर्माण हाईटेक तरीके से किया गया है. 600 करोड़ से भी ज्यादा की लागत से बनी एनेक्सी में अधिकारियों मंत्रियों और आम लोगों के आने जाने के लिए 16 लिफ्ट लगी हैं. लेकिन जिस तरह खुद सीएम शिवराज को परेशान होना पड़ा उससे अब इसके मेंटेनेंस को लेकर सवाल खड़े होने लगे हैं. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक मुख्यमंत्री के अलावा मुख्य सचिव भी इसी तरह की परेशानी में फंस चुके हैं.
मंत्रालय एनेक्सी बिल्डिंग का निर्माण 2018 से पहले तत्कालीन शिवराज सरकार में ही शुरू हुआ था.लेकिन इसका उद्घाटन 2018 में तत्कालीन मुख्यमंत्री कमलनाथ ने किया था. इस बिल्डिंग के निर्माण में विशेष रूप से धौलपुर के लाल पत्थरों का इस्तेमाल किया गया है. एनेक्सी करीब 6 लाख वर्ग फीट में फैली है और इसे कॉर्पोरेट दफ्तर की तर्ज पर बनाया गया है.करीब 40 हजार वर्ग फीट के एरिया में पांचवे फ्लोर पर मुख्यमंत्री का दफ्तर बनाया गया है. मुख्यमंत्री के आने जाने के लिए विशेष रूप से वीवीआईपी लिफ्ट लगाई गई है.