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बैसाखी पर्व आज: आनंदपुर साहिब गुरुद्वारा में श्रद्धालुओं ने प्रार्थना की

Nilmani Pal
14 April 2023 1:33 AM GMT
बैसाखी पर्व आज: आनंदपुर साहिब गुरुद्वारा में श्रद्धालुओं ने प्रार्थना की
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पंजाब। बैसाखी के अवसर पर रूपनगर के आनंदपुर साहिब में गुरुद्वारा में बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने पहुंचकर प्रार्थना की।

13 अप्रैल 1699 को बैसाखी के ही दिन दिन सिखों के दसवें गुरु गुरु गोबिंद सिंह ने खालसा पंथ की स्थापना की थी। इस वजह से सिख लोगों के लिए आज का दिन बहुत खास माना जाता है। इसके अलावा बैसाखी के दिन महाराजा रणजीत सिंह ने सिख साम्राज्य का भार संभाला था। जिन्होंने एकीकृत राज्य की स्थापना की थी। तब से इसे बैसाखी के तौर पर मनाया जाता है। बैसाखी का मेला भारत में खास महत्व रखता है क्योंकि यह सभी का सांझा त्यौहार है। बैसाखी वाले दिन भगवान बुद्ध को ज्ञान प्राप्त हुआ और बौद्ध धर्म का प्रचार संगतों में शुरू किया था।

कहते हैं बैसाखी के दिन आकाश में विशाखा नक्षत्र होता है। विशाखा नक्षत्र पूर्णिमा में होने के कारण इस माह को बैसाख कहते हैं। हिंदू समुदाय के लोग इस दिन मां गंगा की स्तुति करते हैं। मान्यताओं के अनुसार ऐसा करने से अश्मेध यज्ञ के समान फल मिलता है। मुख्य तौर पर बैसाखी त्यौहार फसल की पैदावार की खुशी में मनाया जाता है। इस दिन अनाज की पूजा करते हैं और फसल काटकर अपने आराध्य का आभार प्रकट करते हैं। भांगड़ा, बोली, गिद्दा डाल इस पर्व की खुशी को मनाया जाता है। सिख समुदाय लोगों के आज का दिन बहुत ही महत्व रहता है।

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